Good News: मुर्गे के अपशिष्ट से बना डीजल बिक रहा है 36 रुपये लीटर, देता है 38 किलोमीटर से ज्यादा का माइलेज
भारत पेट्रोलियम की कोच्चि स्थित रिफाइनरी ने अप्रैल 2015 में अब्राहम के बायो डीजल को गुणवत्ता प्रमाणपत्र दिया और तब से कॉलेज में एक वाहन इसी ईंधन से चल रहा है।
नई दिल्ली। महंगे वाहन र्इंधन से परेशान लोगों के लिए एक अच्छी खबर आई है। सात साल के लंबे इंतजार के बाद केरल के एक पशु चिकित्सक और इनवेंटर जॉन अब्राहम को मुर्गे के अपशिष्ट (स्लॉटर्ड चिकन वेस्ट) से बायोडीजल बनाने का पेटेंट मिल गया है। इस बायोडीजल की कीमत पारंपरिक डीजल की कीमत का 40 प्रतिशत है। वर्तमान में दिल्ली में डीजल की कीमत 89.87 रुपये प्रति लीटर है और इस लिहाज से बायोडीजल की कीमत लगभग 36 रुपये होगी। इस बायोडीजल का माइलेज 38 किलोमीटर प्रति लीटर से भी अधिक है। इससे प्रदूषण भी कम होता है।
केरल वेटेरिनरी एंड एनिमल साइंसेज यूनिवर्सिटी के तहत आने वाले वेटेरिनरी कॉलेज में एसोसियेट प्रोफेसर अब्राहम ने बताया कि उन्हें साढ़े सात साल के लंबे इंतजार के बाद सात जुलाई, 2021 को भारतीय पेटेंट कार्यालय ने उनकी इस खोज के लिए पेटेंट प्रदान किया है। अब्राहम ने काटे गए मुर्गों के अपशिष्ट से निकलने वाले तेल से बायो डीजल का अविष्कार किया है। उन्होंने कहा कि 2009-12 के दौरान उन्होंने यह अविष्कार किया।
शोध के बाद अब्राहम ने वायनाड के कलपेट्टा के पास स्थित पोकोडे वेटेरिनरी कॉलेज में 2014 में 18 लाख रुपये की लागत के साथ एक प्रयोगात्मक संयंत्र स्थापित किया। इसके लिए उन्हें भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद से वित्तपोषण मिला है। इसके बाद भारत पेट्रोलियम की कोच्चि स्थित रिफाइनरी ने अप्रैल 2015 में अब्राहम के बायो डीजल को गुणवत्ता प्रमाणपत्र दिया और तब से कॉलेज में एक वाहन इसी ईंधन से चल रहा है। यह पूछे जाने पर कि ईंधन के लिए वह मुर्गे के अपशिष्ट का ही इस्तेमाल क्यों करते हैं, अब्राहम ने कहा कि पक्षियों एवं सूअरों के पेट में काफी वसा संतृप्ति होती है और इस वजह से सामान्य तापमान पर उससे तेल निकालना आसान होता है। अब्राहम और उनके छात्र अब सूअर के अपशिष्ट से बायो डीजल बनाने की परियोजना पर काम कर रहे हैं। उन्होंने साथ ही बताया कि कसाई घरों से 7 रुपये प्रति किलोग्राम की दर से मिलने वाले मुर्गे के 100 किलोग्राम अपशिष्ट से एक लीटर बायो डीजल का उत्पादन किया जा सकता है।
मिश्रण के लिए अब्राहम ने कहा कि पुराने डीजल इंजन के लिए उनके बायोडीजल को 80:20 अनुपात में मिलाया जा सकता है, लेकिन नए सीडीआरईआई इंजन के लिए यह अनुपात उल्टा यानी 20:80 है। 2018 बायो-फ्यूल पॉलिसी में 20 प्रतिशत बायो-डीजल मिश्रण के साथ 2020 तक कच्चे तेल के आयात में 10 प्रतिशत की कमी लाने का प्रस्ताव किया गया है। बायोडीजल के बड़े खरीदारों में आईओसी, बीपीसीएल, रेलवे, कर्नाटक और केल स्टेट रोड ट्रांसपोर्ट कॉरपोरेशन शामिल हैं।
अब्राहम ने बताया कि बायोडीजल का उपयोग 20 प्रतिशत मिश्रण के साथ सभी डीजल इंजन में किया जा सकता है। इससे कुल ईंधन खपत में कमी आती है और इसके बेहतर लुब्रीकेटिंग गुणों की वजह से यह बेहतर माइलेज भी प्रदान करता है।
सोमवार को कीमतों में कोई बदलाव नहीं होने से राष्ट्रीय राजधानी में पेट्रोल 101.84 रुपये प्रति लीटर पर बिक रहा है, जबकि डीजल 89.87 रुपये प्रति लीटर पर अपरिवर्तित है। मुंबई, चेन्नई और कोलकाता में पेट्रोल क्रमश: 107.83 रुपये, 102.49 रुपये और 102.08 रुपये प्रति लीटर पर बिका।
इसी तरह, दिल्ली, मुंबई, चेन्नई और कोलकाता में डीजल की कीमत क्रमश: 89.87 रुपये, 97.45 रुपये, 94.39 रुपये और 93.02 रुपये प्रति लीटर थी। ईंधन की कीमतों में 41 दिनों की वृद्धि और 1 मई से 44 दिनों तक अपरिवर्तित रहने के बाद एक सप्ताह से अधिक का मूल्य विराम आया है।
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