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Hindi News पैसा बाजार फ्यूचर एंड ऑप्शन कारोबार में पिस रहे रिटेल इन्वेस्टर्स, RBI की रिपोर्ट में जानिए क्या आया सामने

फ्यूचर एंड ऑप्शन कारोबार में पिस रहे रिटेल इन्वेस्टर्स, RBI की रिपोर्ट में जानिए क्या आया सामने

सेबी के जनवरी, 2023 में प्रकाशित एक रिसर्च से पता चला कि वित्त वर्ष 2018-19 से 2021-22 के दौरान फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में 89 प्रतिशत व्यक्तिगत प्रतिभागियों ने पैसा गंवाया है।

शेयर मार्केट न्यूज- India TV Paisa Image Source : FILE शेयर मार्केट न्यूज

हाल के वर्षों में फ्यूचर एंड ऑप्शन (F&O) सेगमेंट में कारोबार मात्रा में तेज वृद्धि से कई चुनौतियां उत्पन्न हो सकती हैं। इसका कारण यह है कि जो खुदरा निवेशक रिस्क मैनेजमेंट का पालन नहीं कर रहे हैं वे बाजार में अचानक आने वाले उतार-चढ़ाव से प्रभावित हो सकते हैं। भारतीय रिजर्व बैंक की एक रिपोर्ट में यह कहा गया है। हाल के वर्षों में फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में खुदरा निवेशकों की भागीदारी तेजी से बढ़ी है। यह 2023-24 में 42.8 प्रतिशत बढ़कर 95.7 लाख हो गया है। 2022-23 में यह 65 लाख था।

ट्रेडिंग वॉल्यूम में भारी उछाल

आरबीआई की छमाही वित्तीय स्थिरता रिपोर्ट (FSR) में कहा गया है कि फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में ट्रेडिंग वॉल्यूम में पिछले कुछ वर्षों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है। लेकिन ‘प्रीमियम टर्नओवर’ के तहत मापे जाने पर कारोबारी मात्रा में एक रैखिक वृद्धि का प्रतिरूप देखा गया है। नकदी बाजार के अनुपात में ‘प्रीमियम टर्नओवर’ पिछले तीन वर्षों में स्थिर बना हुआ है। रिपोर्ट के अनुसार, इक्विटी फ्यूचर एंड ऑप्शन (इक्विटी डेरिवेटिव) बाजार मूल्य तलाशने में सुधार कर सकता है और अंतर्निहित नकदी बाजार में बाजार की तरलता बढ़ा सकता है। हालांकि, यह उच्च जोखिमों से भी जुड़ा है। इसमें कहा गया है कि चूंकि ‘डेरिवेटिव’ बाजार अधिक जटिल है, इसलिए निवेशक सुरक्षा जरूरी है।

इंडिविजुअल्स ने ज्यादा गंवाया पैसा

सेबी के जनवरी, 2023 में प्रकाशित एक रिसर्च से पता चला कि वित्त वर्ष 2018-19 से 2021-22 के दौरान फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में 89 प्रतिशत व्यक्तिगत प्रतिभागियों ने पैसा गंवाया है। रिपोर्ट के अनुसार, ‘‘हाल के वर्षों में फ्यूचर एंड ऑप्शन सेगमेंट में कारोबारी मात्रा तेज वृद्धि कई चुनौतियां पैदा कर सकती है। खुदरा निवेशक उचित जोखिम प्रबंधन किये बिना बाजार में अचानक उतार-चढ़ाव से प्रभावित हो सकते हैं और इसका नकदी बाजार पर असर पड़ सकता है।।’’ भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड ने निवेशक सुरक्षा के साथ-साथ समग्र प्रणालीगत जोखिम प्रबंधन के दृष्टिकोण से फ्यूचर एंड ऑप्शन मार्केट की समीक्षा करने के लिए एक विशेषज्ञ कार्य समूह का गठन किया है।

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