शेयर बाजार में दिवाली के दिन 1 घंटे का स्पेशल ट्रेडिंग सेशन का आयोजन किया जात है। इसे Muhurat Trading के नाम से जाना जाता है। दिवाली के दिन शुभ मुहूर्त में बहुत सारे निवेशक मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान शेयरों की खरीद और बिक्री करते हैं। इस साल, बीएसई और एनएसई दोनों ही शुक्रवार, 1 नवंबर को शाम 6:00 बजे से 7:00 बजे तक मुहूर्त ट्रेडिंग सत्र आयोजित करेंगे। आपको बता दें कि ऐतिहासिक रूप से, मुहूर्त ट्रेडिंग सेशन में बाजार में अधिकांश समय तेजी रही है। अगर पिछले 16 वर्षों का ट्रेंड देखें तो 13 मुहूर्त ट्रेडिंग में सेंसेक्स और निफ्टी हरे निशान में बंद हुए हैं।
मुहूर्त ट्रेडिंग का इतिहास
पिछले कुछ वर्षों में, मुहूर्त ट्रेडिंग दिवस ने लगातार तेजी रही है। 2022 में सूचकांकों में लगभग एक प्रतिशत, 2021 में 0.5 प्रतिशत, 2020 में 0.47 प्रतिशत और 2019 में 0.37 प्रतिशत की तेजी दर्ज की गई, जबकि 2018 में 0.7 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई। वहीं, 2017 (-0.6 प्रतिशत), 2016 (-0.04 प्रतिशत), और 2012 (-0.3 प्रतिशत) में मामूली गिरावट देखने को मिली। सबसे उल्लेखनीय मुहूर्त ट्रेडिंग सत्र 28 अक्टूबर 2008 को वैश्विक वित्तीय संकट के दौरान हुआ था, जब सूचकांक में लगभग 6 प्रतिशत की उछाल आई थी, जो उस सत्र के लिए अब तक की सबसे अधिक बढ़त थी।
सावधानी से निवेश करने की सलाह
इस बार शेयर मार्केट एक्सपर्ट मुहूर्त ट्रेडिंग के दौरान सावधानी बरतने की सलाह दे रहे हैं। मुहूर्त ट्रेडिंग के दिन सीमित लिक्विडिटी को देखते हुए, निवेशकों को बड़े ट्रेड के बजाय टोकन निवेश करने की सलाह दी जा रही है। इस वर्ष, संवत 2081 प्रमुख वैश्विक आर्थिक बदलावों के साथ शुरू हो रहा है। संवत 2081 वैश्विक अर्थव्यवस्था के लिए एक महत्वपूर्ण वर्ष है, जिसकी शुरुआत वैश्विक दर-कटौती चक्र के बीच हो रही है।
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