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Hindi News पैसा बाजार ₹2 रुपये शेयर प्राइस वाली इस कंपनी को मिला खरीदार, 2019 में स्टॉक प्राइस 500 रुपये था

₹2 रुपये शेयर प्राइस वाली इस कंपनी को मिला खरीदार, 2019 में स्टॉक प्राइस 500 रुपये था

कंपनी ने कर्जदाताओं द्वारा मंजूर योजना का विवरण साझा नहीं किया है। इसने बताया कि एफएलएफएल के लिए कंपनी दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) अवधि 26 अगस्त, 2024 को समाप्त हो गई।

Future Lifestyle- India TV Paisa Image Source : FILE फ्यूचर लाइफस्टाइल

दिवाला समाधान प्रक्रिया से गुजर रही फ्यूचर लाइफस्टाइल फैशंस लि.के कर्जदाताओं ने स्पेस मंत्रा और संदीप गुप्ता तथा शालिनी गुप्ता के समूह की बोली को मंजूरी दे दी है। कंपनी ने शेयर बाजार को दी सूचना में कहा कि फ्यूचर लाइफस्टाइल फैशंस लि.(एफएलएफएल) के कर्जदाताओं की समिति ने समूह की समाधान योजना के पक्ष में मतदान किया है। कंपनी ने कहा, ‘‘स्पेस मंत्रा प्राइवेट लि.और संदीप गुप्ता तथा शालिनी गुप्ता के समूह की समाधान योजना को 27 सितंबर, 2024 को एफएलएफएल के कर्जदाताओं की समिति ने मंजूरी दे दी है।’’ अभी फ्यूचर लाइफस्टाइल के शेयर का भाव 2.13 रुपये पर ट्रेड कर रहा है। वहीं, 2019 में शेयर का भाव 500 रुपये के रिकॉर्ड हाई पर भी पहुंचा था। अब नया खरीदारी मिलने से एक बार फिर शेयर में बड़ी तेजी देखने को मिल सकती है। 

कितने में हुआ सौदा, इसकी जानकारी नहीं 

कंपनी ने कर्जदाताओं द्वारा मंजूर योजना का विवरण साझा नहीं किया है। इसने बताया कि एफएलएफएल के लिए कंपनी दिवाला समाधान प्रक्रिया (सीआईआरपी) अवधि 26 अगस्त, 2024 को समाप्त हो गई। कंपनी के समाधान पेशेवर ने 24 अगस्त, 2024 को राष्ट्रीय कंपनी विधि न्यायाधिकरण (एनसीएलटी) के समक्ष एक आवेदन दायर किया। इसमें कंपनी ने दिवाला समाधान प्रक्रिया अवधि बढ़ाने का आग्रह किया गया है। दिवाला एवं ऋण शोधन अक्षमता संहिता (आईबीसी) की धारा 12(1) के अनुसार, सीआईआरपी 180 दिनों के भीतर पूरा किया जाना चाहिए। हालांकि, इस अवधि को कानूनी विवाद की अवधि को मिलाकर 330 दिनों तक बढ़ाया जा सकता है। ऐसा न होने पर संबंधित कंपनी को परिसमापन के लिए भेजा जाता है। 

कर्जदाताओं की समिति में एसबीआई भी 

कर्जदाताओं की समिति में भारतीय स्टेट बैंक (एसबीआई) के पास सबसे ज्यादा 22.51 प्रतिशत मतदान अधिकार है। एफएलएफएल ने जून, 2023 में सूचित किया था कि उसके खिलाफ शुरू की गई दिवाला समाधान प्रक्रिया में 12 वित्तीय कर्जदाताओं से कुल 2,155.53 करोड़ रुपये का दावा प्राप्त हुआ था। 

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