निजी क्षेत्र के दो प्रमुख बैंक कोटक महिंद्रा बैंक और इंडसइंड बैंक पर नियमों को न मानने के चलते रिजर्व बैंक ने जुर्माना लगाया है। भारतीय रिजर्व बैंक (आरबीआई) ने कहा कि उसने कोटक महिंद्रा बैंक और इंडसइंड बैंक को रेगुलेटरी नियमों में कोताही बरतने का दोषी पाया है। रिजर्व बैंक ने इन दोनों पर लगभग एक-एक करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया है। इसके साथ ही केंद्रीय बैंक ने चार सहकारी बैंकों पर भी जुर्माना लगाने का फैसला किया है।
कोटक महिंद्रा की थी ये गलती
रिजर्व बैंक ने कहा कि कोटक महिंद्रा बैंक पर 1.05 करोड़ रुपये का जुर्माना लगाया गया है। यह जुर्माना 'जमाकर्ता शिक्षण एवं जागरूकता कोष योजना, 2014' के कुछ मानकों के उल्लंघन और अनधिकृत इलेक्ट्रॉनिक बैंकिंग लेनदेन में उपभोक्ता संरक्षण एवं ऋण एवं अग्रिम संबंधी प्रावधानों का अनुपालन नहीं करने पर लगा है।
इंडसइंड बैंक पर इसलिए कार्रवाई
इंडसइंड बैंक पर सेबी ने एक करोड़ रुपये का जुर्माना 'अपने ग्राहक को जानो' (केवाईसी) मानकों का पालन नहीं करने पर लगाया गया है। रिजर्व बैंक ने कहा कि जुर्माना लगाने का फैसला नियामकीय अनुपालन में हुई गड़बड़ियों पर आधारित हैं और ये बैंकों के अपने ग्राहकों के साथ समझौते या किसी भी लेनदेन की वैधता पर सवाल नहीं खड़ा करते हैं।
सहकारी बैंकों पर भी चला हंटर
आरबीआई ने सहकारी क्षेत्र के चार बैंकों- नवजीवन कोऑपरेटिव बैंक, बलंगीर जिला केंद्रीय सहकारी बैंक लिमिटेड, ढाकुरिया कोऑपरेटिव बैंक लिमिटेड कोलकाता और पलानी कोऑपरेटिव अर्बन बैंक लिमिटेड पर भी जुर्माना लगाया है। इन पर एक लाख से लेकर दो लाख रुपये तक का जुर्माना लगाया गया है।
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