नयी दिल्ली। कोरोना का संकट एक बार फिर ओमिक्रॉन के रूप में हमें परेशान करने लगा है। इस ताजा झटके से पहले भारतीय अर्थव्यवस्था 2020 के झटके से उबरती हुई बेहतरीन संकेत भी दे रही थी। नवंबर के आंकड़े भारत की अर्थव्यवस्था में सुधार की ओर इशारा भी कर रहे हैं। बुधवार को जारी सरकारी आंकड़े बताते हैं कि देश के औद्योगिक उत्पादन में नवंबर, 2021 में 1.4 प्रतिशत की वृद्धि हुई। बुधवार को जारी आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, नवंबर, 2020 में औद्योगिक उत्पादन 1.6 प्रतिशत घटा था।
राष्ट्रीय सांख्यिकी कार्यालय (एनएसओ) के औद्योगिक उत्पादन सूचकांक (आईआईपी) आंकड़ों के अनुसार, पिछले साल नवंबर में विनिर्माण क्षेत्र का उत्पादन 0.9 प्रतिशत बढ़ा। नवंबर के महीने में खनिज उत्पादन पांच प्रतिशत और बिजली उत्पादन 2.1 प्रतिशत बढ़ा। चालू वित्त वर्ष में अप्रैल-नवंबर के दौरान औद्योगिक उत्पादन 17.4 प्रतिशत बढ़ा है, जबकि इससे पिछले वित्त वर्ष 2020-21 की इसी अवधि में इसमें 15.3 प्रतिशत की गिरावट आयी थी। मार्च, 2020 से शुरू हुई कोरोना वायरस महामारी के कारण औद्योगिक उत्पादन प्रभावित हुआ।
आपके लिए क्यों जरूरी हैं ये आंकड़े
औद्योगिक उत्पादन का बढ़ना देश की अर्थव्यवस्था के लिए अच्छे संकेत हैं। 2020 में कोरोना लॉकडाउन की वजह से लंबे समय तक औद्योगिक गतिविधियां शांत रही थीं। लेकिन 2021 में लॉकडाउन खुलने के साथ ही उम्मीद की किरण जागी है। औद्योगिक उत्पादन के बढ़ने का मतलब यह है कि वस्तुओं की मांग के अनुरूप आपूर्ति बनी रहेगी, इससे महंगाई में कमी आ सकती है। इसके अलावा देश में एक्सपोर्ट का माहौल भी सुधेरेगा, जिससे हमें बहुमूल्य विदेशी मुद्रा भी हासिल हो सकती है।
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