नयी दिल्ली। भारत में 38 फीसदी कंपनियां अगले तीन महीने में और भर्तियां करने की योजना बना रही हैं। इस तरह अप्रैल-जून तिमाही के दौरान नियोक्ताओं द्वारा नियुक्ति गतिविधियां तेज रहने का अनुमान है। मैनपॉवरग्रुप रोजगार परिदृश्य सर्वेक्षण के 60वें सालाना संस्करण में मंगलवार को यह जानकारी दी गई। इसमें 3,090 नियोक्ताओं की राय जानी गई। रिपोर्ट के मुताबिक विभिन्न क्षेत्रों में नियुक्ति गतिविधियां पिछले वर्ष की समान अवधि के मुकाबले कहीं अधिक मजबूत हैं। हालांकि तिमाही के आधार पर देखा जाए तो अनुमान है कि जनवरी-मार्च तिमाही के मुकाबले शुद्ध रोजगार परिदृश्य में 11 प्रतिशत की कमी आ सकती है।
अप्रैल-जून तिमाही के लिए 55 फीसदी नियोक्ताओं का अनुमान है कि पेरोल बढ़ेगा, 17 फीसदी ने कहा कि इसमें कमी आएगी जबकि 36 फीसदी का अनुमान है कि इसमें कोई बदलाव नहीं होगा। इस तरह शुद्ध रोजगार परिदृश्य 38 फीसदी है। मैनपॉवरग्रुप के समूह प्रबंध निदेशक संदीप गुलाटी ने कहा, ‘‘देश महामारी के असर से बाहर आ रहा है, पर वैश्विक भूराजनीतिक अस्थिरता और बढ़ती मुद्रास्फीति जैसी नई चुनौतियां सामने हैं। इस बीच, भारत सूचना प्रौद्योगिकी और प्रौद्योगिकी संसाधनों के मुख्य स्रोत के रूप में आगे बढ़ता रहेगा।’’
गुलाटी ने कहा कि कार्यबल में महिलाओं का प्रतिनिधित्व अभी भी चिंता का विषय बना हुआ है। सर्वेक्षण के मुताबिक आईटी और प्रौद्योगिकी भूमिकाओं के लिए परिदृश्य सबसे मजबूत 51 फीसदी है, इसके बाद रेस्टोरेंट और होटल के लिए 38 फीसदी, शिक्षा, स्वास्थ्य, सामाजिक कार्य और सरकारी नियुक्ति संबंधी परिदृश्य 37 फीसदी है।
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