कोलकाता। पश्चिम बंगाल में देश के सभी राज्यों की तुलना में सबसे ज्यादा सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्यम (एमएसएमई) हैं। यहां इन उद्यमों की संख्या 52,69,814 है। राज्य में आज से शुरू हुए बंगाल वैश्विक व्यापार शिखर सम्मेलन में एमएसएमई की यह संख्या निवेश को बढ़ावा देने में मदद करेगी।
राज्य के सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यम मंत्रालय के एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि देश के एमएसएमई उद्यमों में बंगाल की हिस्सेदारी 11.62 प्रतिशत है, जो कि देश के दस शीर्ष राज्यों में सबसे ज्यादा है। एमएसएमई मंत्रालय की वार्षिक रिपोर्ट 2016-17 के आंकड़ों के मुताबिक बंगाल ने महाराष्ट्र और गुजरात जैसे औद्योगिक क्षेत्रों को इस दौड़ में पछाड़ दिया है।
एमएसएमई सचिव राजीव सिन्हा ने कहा कि यह दर्शाता है कि राज्य व्यवसाय, उद्यमों और नौकरियों की दिशा में क्या कर रहा है। एमएसएमई उद्यमों की वृद्धि में बड़े पैमाने पर उद्योगों के लिए भारी संभावनाएं हैं। इसमें कहा गया है कि पश्चिम बंगाल के बाद दूसरे स्थान पर उत्तर प्रदेश और उसके बाद महाराष्ट्र का स्थान है।
सूक्ष्म, लघु एवं मझोले उद्यमों में गुजरात की हिस्सेदारी 4.89 प्रतिशत है और उसका आठवां स्थान है। वर्तमान में पश्चिम बंगाल औद्योगिक नीति विभाग और संवर्धन व्यापार सुधार कार्य योजना (बीआरएपी) 2017 की सूची में शीर्ष स्तर पर है। इस सूची में सभी राज्य और केंद्र शासित प्रदेश शामिल हैं।
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