नई दिल्ली। शराब कारोबारी व बंद पड़ चुकी किंगफिशर एयरलाइंस के प्रवर्तक विजय माल्या ने सोमवार को राज्यसभा की सदस्यता से इस्तीफा दे दिया है। इससे पहले 25 अप्रैल को राज्यसभा की एथिक्स कमेटी की मीटिंग में चैयरमेन कर्ण सिंह ने कहा था कि माल्या ने गैर जमानती वारंट की अनदेखी करते हुए गुनाह किया है और उनकी सदस्यता रद्द करने पर विचार किया जा रहा है। 60 वर्षीय माल्या के विरुद्ध एक भारतीय अदालत ने पिछले सप्ताह गैर जमानती वारंट जारी किया था। माल्या को वापस देश में लाने के प्रयासों के तहत विदेश मंत्रालय ने हाल ही में उनका राजनयिक पासपोर्ट रद्द करने के साथ ही ब्रिटिश सरकार को माल्या को प्रत्यारोपित करने के लिए खत लिखा है।
देश में विभिन्न बैंकों का 9,000 करोड़ रुपए ऋण चुकाने में असफल रहे उद्योगपति विजय माल्या इन दिनों ब्रिटेन की हर्टफोर्डशायर काउंटी में 1.5 करोड़ डॉलर के बंगले में रहते हैं। भारतीय विदेश मंत्रालय द्वारा हाल में ही माल्या का पासपोर्ट रद्द किए जाने से उनके स्वदेश भेजने की संभावना बढ़ गई है। मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक माल्या का नाम ब्रिटेन की मतदाता सूची में दर्ज है और उसमें उन्हें हर्टफोर्डशायर का निवासी बताया गया है।
पिछले हफ्ते विजय माल्या ने ब्रिटेन के फाइनेंशियल टाइम्स को दिए अपने इंटरव्यू में कहा था कि उन्हें गिरफ्तार कर या उनका पासपोर्ट रद्द कर बैंकों को उनका पैसा वापस नहीं मिलेगा। उन्होंने कहा था कि वह बैंकों के साथ लगातार कर्ज चुकाने के लिए बातचीत कर रहे हैं, लेकिन बैंक अपना पैसा वापस पाने से ज्यादा उन्हें जेल के पीछे देखने में रुचि दिखा रहे हैं। माल्या ने कहा कि वे लंदन में मजबूरी के चलते निर्वासन जीवन जीने को मजबूर हैं, लेकिन वे इस देश को नहीं छोड़ेंगे। उन्होंने दावा किया कि बैंकों का कर्ज चुकाने के लिए वह तैयार हैं और इस तकलीफ भरे चैप्टर को खत्म करना चाहते हैं।
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