नई दिल्ली। दिवाली के त्योहार ने महामारी के बाद घरेलू कारोबारियों को मुस्कुराने का एक मौका दिया है वहीं इस त्योहार में चीन को भी अपनी महत्वाकांक्षा की बड़ी कीमत चुकानी पड़ी है। कन्फेडरेशन ऑफ ऑल इंडिया ट्रेडर्स (सीएआईटी) ने कहा कि चीन के सामान के बायकॉट के बीच व्यापारियों ने देश के प्रमुख बाजारों में इस दिवाली पर लगभग 72,000 करोड़ रुपये की बिक्री दर्ज की। व्यापारियों के निकाय के अनुसार, इस साल की दिवाली के दौरान चीनी सामानों के बहिष्कार के लिए सीएआईटी के आह्वान पर कोई चीनी सामान नहीं बेचा गया। जिसका चीनी कारोबारियों को तगड़ा झटका पहुंचा है।
जानिये चीन को हुआ कितना नुकसान
सीएआईटी ने एक बयान में कहा, 20 अलग-अलग शहरों से इकट्ठा की गई रिपोर्ट के अनुसार, जिन्हें भारत का अग्रणी वितरण केंद्र माना जाता है, उम्मीद है कि दिवाली त्योहारी बिक्री ने लगभग 72,000 करोड़ रुपये का कारोबार किया और चीन को 40,000 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ। दिल्ली, मुंबई, चेन्नई, बेंगलुरु, हैदराबाद, कोलकाता, नागपुर, रायपुर, भुवनेश्वर, रांची, भोपाल, लखनऊ, कानपुर, नोएडा, जम्मू, अहमदाबाद, सूरत, कोचीन, जयपुर, चंडीगढ़ सहित बीस शहरों को वितरण शहर माना जाता है।
किस सेग्मेंट में दिखी बढ़त
सीएआईटी ने कहा कि दिवाली के त्योहारी सीजन के दौरान वाणिज्यिक बाजारों में हुई मजबूत बिक्री भविष्य में व्यापार की अच्छी संभावनाओं को इंगित करती है और व्यापारियों के चेहरे पर कुछ मुस्कान वापस ला सकती है।एफएमसीजी सामान, उपभोक्ता टिकाऊ वस्तुएं, खिलौने, बिजली के उपकरण और सामान, इलेक्ट्रॉनिक उपकरण, रसोई के सामान, उपहार की वस्तुएं, मिष्ठान्न वस्तुएं, मिठाई, घर की सजावट, टेपेस्ट्री, बर्तन, सोना और आभूषण, जूते, घड़ियां, फर्नीचर, दिवाली पर सबसे ज्यादा खरीदे जाने वाले सामानों में शामिल है। कपड़े, फैशन अपेरल्स, होम डेकोरेशन के सामान की भी अच्छी खरीददारी हुई।
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