टोक्यो। जापानी दूरसंचार कंपनी सॉफ्टबैंक के अध्यक्ष व सीओओ निकेश अरोड़ा को बीते वित्त वर्ष (2015-16) में लगभग 7.3 करोड़ डॉलर (500 करोड़ रुपए) का वेतन पैकेज मिला और वे लगातार दूसरे साल दुनिया में सबसे अधिक भुगतान पाने वाले कार्यकारियों में से एक रहे। भारत में जन्मे अरोड़ा को 31 मार्च, 2015 को समाप्त वित्त वर्ष में 7.3 करोड़ डॉलर का वेतन पैकेज मिला, जिसमें सॉफ्टबैंक की इन इकाइयों से मिला 1.41 करोड़ डॉलर का मुआवजा भी शामिल है।
मीडिया रिपोर्ट में सॉफ्टबैंक के एक बयान का हवाले से यह जानकारी दी गई है। इस वेतन के साथ अरोड़ा पहले ही जापान के सबसे अधिक भुगतान पाने वाले कार्यकारी हैं। उनका वेतन पैकेज एप्पल के टिम कुक व वॉल्ट डिज्नी के बॉब इगर के वेतन के दायरे में है। पूर्व वित्त वर्ष में अरोड़ा को 13.5 करोड़ डॉलर का वेतन पैकेज मिला था, जिसमें कंपनी से जुड़ने का बोनस शामिल था। अरोड़ा सर्च इंजन गूगल छोड़कर सॉफ्टबैंक में आए हैं। सितंबर 2014 में वह एसबी ग्रुप यूएस (पूर्व में सॉफ्टबैंक इंटरनेट एंड मीडिया इंक) के सीईओ तथा सॉफ्टबैंक के वाइस चेयरमैन के रूप में इससे जुड़े। पिछले साल मई में उन्हें पदोन्नत कर अध्यक्ष व सीओओ बनाया गया। सॉफ्टबैंक के 35 साल के इतिहास में पहली बार किसी को अध्यक्ष का पदनाम दिया गया।
उल्लेखनीय है कि अरोड़ा को सॉफ्टबैंक के अरबपति संस्थापक मासायोशी सोन के उत्तराधिकारी के रूप में भी देखा जा रहा है। पिछले ही महीने सोन ने अरोड़ा में अपने भरोसे को दोहराते हुए कहा था, निकेश में मेरा पूरा भरोसा है और उनमें 1000 फीसदी विश्वास है और मैं जानता हूं कि वे भविष्य में भी सॉफ्टबैंक के लिए बड़ी चीजें करते रहेंगे। अरोड़ा की अगुवाई में सॉफ्टबैंक ने भारत में स्नैपडील, ओला कैब्स, हाउसिंग डॉट कॉम, ओयो रूम्स व ग्रोफर्स जैसी कंपनियों में निवेश किया है।
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