नई दिल्ली। सरकार की जनधन योजना के बेहतर परिणाम अब सामने आते दिखाई दे रहे हैं। एक ताजा रिपोर्ट के अनुसार देश के जिन राज्यों में प्रधानमंत्री जनधन खातों की संख्या सबसे ज्यादा है, उन राज्यों में ग्रामीण मुद्रास्फीति निम्न स्तर पर आ गई है। एक रिपोर्ट में यह बात सामने आई है कि नोटबंदी के बाद से जनधन खातों में तेजी से इजाफा हुआ है। अब तक पूरे देश में 30 करोड से अधिक बैंक खाते खोले जा चुके हैं।
स्टेट बैंक ऑफ इंडिया की एक रिसर्च रिपोर्ट ईकोरैप में जनधन खातों से जुड़े आंकड़े पेश किए गए हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि जनधन खाते वाले दस शीर्ष राज्यों में करीब 23 करोड़ खाते खोले गए हैं जो कुल जनधन खातों के 75 प्रतिशत हैं। देश भर में खातों की सबसे अधिक संख्या उत्तर प्रदेश में है। उत्तर प्रदेश में 4.7 करोड़ जनधन खाते खोले जा चुके हैं। इसके बाद बिहार में 3.2 करोड़ और पश्चिम बंगाल में 2.9 करोड़ खाते खुले हैं।
एसबीआई की एक रिसर्च रिपोर्ट ईकोरैप में बताया गया है कि करीब 60 प्रतिशत जनधन खाते केवल ग्रामीण इलाकों में ही खुले हैं। रिपोर्ट में कहा गया है कि आंकड़े दिखाते हैं कि जिन राज्यों में खाते अधिक संख्या में खुले हैं, उनमें ग्रामीण मुद्रास्फीति निम्न स्तर पर है। यह दिखाता है कि अर्थव्यवस्था औपचारिक रूप ले चुकी है।
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