वॉशिंगटन। वित्त मंत्री अरूण जेटली ने आईएमएफ में कहा, रिफॉर्म से ट्रांसफॉर्म इंडिया मंत्र के साथ भारत की सरकार आधारभूत ढांचे को मजबूत कर रही है ताकि ज्यादा मजबूत और सतत विकास किया जा सके। वहीं, बढ़ती अनिश्चितताओं और वित्तीय व्यवस्था में अस्थिरता के खतरे के बीच आईएमएफ से अपील की कि अपने संसाधनों की प्रचुरता का आकलन करे और यह पता लगाए कि बार-बार आने वाले वित्तीय संकट को देखते हुए क्या वे भविष्य के लिए पर्याप्त हैं।
जेटली ने अंतरराष्ट्रीय मुद्रा और वित्तीय समिति को संबोधित करते हुए कहा, इस जवाबदेही को लेने के लिए आईएमएफ अद्भुत स्थिति में है लेकिन प्रशासन में सुधार के माध्यम से इसे और मजबूत करने की जरूरत है। उन्होंने कहा, साथ ही आईएमएफ को अपने संसाधनों की प्रचुरता का आकलन भी करना चाहिए और यह पता लगाना चाहिए कि बार बार आ रहे वित्तीय संकट को देखते हुए क्या वे भविष्य के लिए पर्याप्त हैं।
जेटली ने अंतरराष्ट्रीय मुद्रा कोष की स्पिंरग बैठक में कहा, वर्तमान सरकार मजबूत और सतत: विकास के लिए आधारभूत ढांचे के माध्यम से रिफॉर्म टू ट्रांसफॉर्म इंडिया का रूख अपना रही है। उन्होंने कहा कि आधारभूत निवेश, दिवालिया कानून का निगमन करना, व्यवसाय के माहौल में सुधार लाना और जीएसटी जैसे महत्वपूर्ण टैक्स सुधार को बढ़ावा देना जैसे कदम उठाए जा रहे हैं।
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