नई दिल्ली। विवादों में घिरे सहारा समूह ने सुप्रीम कोर्ट में कहा है कि वह दिसंबर 2018 तक शेष 12,000 करोड़ रुपए की राशि सेबी-सहारा खाते में जमा कराने की समयसारिणी के साथ तैयार है। यह राशि निवेशकों को लौटाई जानी है। सहारा समूह ने मुख्य न्यायधीश टीएस ठाकुर की अध्यक्षता वाली पीठ के समक्ष कहा कि राशि जमा कराने के पूरे कार्यक्रम को बाजार नियामक सेबी और वरिष्ठ अधिवक्ता शेखर नेफाडे के साथ साझा किया जा चुका है।
पीठ ने इसके बाद सहारा समूह के प्रमुख सुब्रत रॉय को दी गई अंतरिम जमानत और अन्य व्यवस्थाओं को 28 नवंबर तक के लिए जारी रखने की अनुमति दे दी, जिससे अब सुब्रत रॉय दिवाली अपने घर पर ही मना सकेंगे।
- अदालत ने समूह को निर्देश दिया था कि सेबी को बकाया 12,000 करोड़ रुपए की राशि के भुगतान के लिए वह पूरा कार्यक्रम उसे सौंपे।
- कोर्ट ने समूह द्वारा 200 करोड़ रुपए का भुगतान करने के बाद रॉय और अन्य की पैरोल 24 अक्टूबर तक के लिए बढ़ा दी थी।
- पीठ ने कहा कि सहारा समूह को 28 नवंबर तक और 200 करोड़ रुपए जमा कराने होंगे ताकि मौजूदा अंतरिम व्यवस्था चलती रहे।
- सहारा वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि समूह 15 करोड़ रुपए की राशि के साथ तैयार है और शेष 185 करोड़ रुपए सुनवाई की अगली तिथि पर जमा करा दिए जाएंगे।
- न्यायालय ने समूह को उसकी अजमेर, फिरोजाबाद, वेल्लूर, तिरुचिरापल्ली और उज्जैन स्थित संपत्तियों की फिर से नीलामी की भी अनुमति दे दी।
- इनके लिए बोली काफी ऊंची लगाई गई थी लेकिन कुछ कानूनी अड़चनों और आयकर मुद्दों की वजह से यह बोली पूरी नहीं हो पाई थी।
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