नई दिल्ली। भारत के राष्ट्रपति का वेतन संसदीय सचिव से भी कम होने के कारण मोदी सरकार ने आज अपने बजट में राष्ट्रपति, उप-राष्ट्रपति और राज्यपालों के वेतन-भत्तों को बढ़ाने की घोषणा की है। यह वेतन वृद्धि 200 प्रतिशत से अधिक होगी।
वृद्धि के बाद राष्ट्रपति का वेतन मौजूदा 1.5 लाख रुपए से बढ़कर 5 लाख रुपए प्रति माह हो जाएगी। इसी प्रकार उपराष्ट्रपति का वेतन मौजूदा 1.10 लाख रुपए से बढ़कर 4 लाख रुपए महीना होगा। राज्यपालों को भी अब प्रति माह साढ़े तीन लाख रुपए का वेतन दिया जाएगा। ये नया वेतनमान जनवरी 2016 से प्रभावी होगा। इससे पहले 2008 में राष्ट्रपति के वेतन को 50 हजार रुपए से बढ़ाकर 1.5 लाख रुपए प्रति माह किया गया था।
इसके अलावा सरकार ने सांसदों के वेतन, भत्ते तय करने के नियमों में बदलाव करने के लिए भी एक नए कानून की घोषणा की है। इसके तहत मुद्रास्फीति के साथ जोड़कर नया वेतन और भत्ते तय किए जाएंगे और यह हर पांच साल में स्वत: संशोधन का नियम बनेगा।
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