नई दिल्ली। कोरोना वायरस महामारी की वजह से संकट में फंसे ऑटो उद्योग को राहत देने और आम जनता को दिवाली पर सस्ते वाहन का तोहफा देने के लिए मोदी सरकार तैयारियों में जुटी हुई है। केंद्रीय भारी उद्योग मंत्री प्रकाश जावड़ेकर ने शुक्रवार को संकेत दिया है कि वाहनों के लिए माल एवं सेवा कर (जीएसटी) की दरों में कटौती की जा सकती है। उन्होंने ऑटो उद्योग को जल्दी ही कुछ अच्छी खबर मिलने की भी बात कही है।
सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने भी बताया कि वाहन को कबाड़ करने की नीति का प्रस्ताव तैयार हो चुका है और सभी संबंधित पक्षों ने इस पर राय दी है। उन्होंने कहा कि शीघ्र ही इस नीति की घोषणा संभव है।
जावड़ेकर ने वाहनों के लिए जीएसटी दरों में कटौती की संभावना के बारे में कहा कि वित्त मंत्रालय प्रस्ताव पर काम कर रहा है। मुझे उम्मीद है कि आप लोगों को जल्दी ही कुछ अच्छी खबर मिलेगी।
मंत्री ने कहा कि वह जीएसटी दरें घटाने की वाहन उद्योग की मांग पर निश्चित तौर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ चर्चा करेंगे। जावड़ेकर ने कहा कि हो सकता है हम तुरंत जीएसटी दरें घटाने पर सहमत न हों, लेकिन यह अंतिम इनकार नहीं होगा। निश्चित तौर पर आगे का कुछ रास्ता मिलेगा, जो मुझे दिख भी रहा है और इस दिशा में प्रगति होगी।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पिछले महीने उद्योग जगत के साथ एक बातचीत में कहा था कि दोपहिया वाहन न तो लक्जरी और न ही नुकसानदेह सामान है, अत: जीएसटी दर में संशोधन किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि जीएसटी परिषद द्वारा एक दर संशोधन प्रस्ताव लाया जाएगा।
दोपहिया वाहनों पर अभी 28 प्रतिशत जीएसटी लगता है। जीएसटी दरें केंद्रीय वित्त मंत्री की अध्यक्षता वाली परिषद द्वारा तय की जाती हैं, जिसमें सभी राज्यों के वित्त या कराधान के प्रभारी मंत्री शामिल होते हैं।
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