नई दिल्ली। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी 31 दिसंबर को महत्वकांक्षी दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे परियोजना की आधारशिला रखेंगे। इस परियोजना का उद्देश्य राष्ट्रीय राजधानी में यातायात व्यवस्था को सुगम बनाना है। सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने कहा कि हम दिल्ली में यातायात की समस्या को दूर करने के लिए प्रतिबद्ध हैं और कुछ कदम उठा रहे हैं। दिल्ली में भीड़-भाड़ कम करने के लिए एक और महत्वपूर्ण परियोजना दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे होगी। इसके लिए प्रधानमंत्री 31 दिसंबर को आधारशिला रखेंगे।
उन्होंने बताया कि फिलहाल दिल्ली और मेरठ के बीच एक मात्र रास्ता एनएच-58 है और इस राजमार्ग पर कई जगह यातायात जाम की समस्या होती है। इससे दिल्ली और मेरठ के बीच यात्रा करने वाले लोगों को असुविधा होती है। गडकरी ने कहा कि दिल्ली और मेरठ के बीच तेज एवं सुरक्षित यात्रा के लिए एक्सप्रेस-वे की तत्काल जरूरत है और उसी के अनुसार परियोजना तैयार की गई है।
दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे का निर्माण निजामुद्दीन पुल से शुरू होगा और मौजूदा एनएच-24 पर डासना तक (30.38 किलोमीटर) किया जाएगा। उन्होंने कहा कि डासना से मेरठ तक पूरी तरह नया मार्ग बनेगा। यह मार्ग इनर रिंग रोड, मेरठ बाईपास के पास समाप्त होगा। यह परियोजना चार पैकेज में तैयार होगी। पहले तीन हिस्से -निजामुद्दीन पुल से उत्तर प्रदेश बॉर्डर, उ.प्र. बॉर्डर से डासना और डासना से हापुड़ हैं। परियोजना की लागत 2,809.6 करोड़ रुपए होगी। चौथा पैकेज दिल्ली-मेरठ एक्सप्रेस-वे पर डासना से मेरठ तक नया संपर्क मार्ग बनाना होगा, जो कि छह लेन का होगा।
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