नई दिल्ली। देश में कई दिग्गज FMCG कंपनियों को पीछे छोड़ने के बाद बाबा रामदेव अब चीन में बिजनेस बढ़ाने की योजना बना रहे हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक रामदेव की कंपनी पतंजलि आयुर्वेद ने सरकार की ‘ऐक्ट ईस्ट पॉलिसी’ के साथ काम करते हुए भारत के पूर्वी देशों में अपना बिजनेस बढ़ाने की स्ट्रैटेजी तैयार की है। पतंजलि आयुर्वेद नई योजना के तहत झारखंड के साहिबगंज जिले में प्रॉडक्शन यूनिट खोलेगी। सरकार इस इलाके को दक्षिण एशियाई देशों से जल, वायु और सड़क मार्ग से जोड़ने पर काम कर रही है।
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सरकार के साथ चल रही है बातचीत
- अंग्रेजी बिजनेस अखबार मिंट ने एक सीनियर सरकारी अधिकारी के हवाले से लिखा है, पतंजलि आयुर्वेद कंपनी शिपिंग ऐंड वॉटरवेज मिनिस्ट्री के साथ पूर्वी एशियाई देशों में सामान के निर्यात को लेकर साहिबगंज स्थित मल्टी मॉडल टर्मिनल के इस्तेमाल को लेकर बातचीत कर रही है।
पतंजलि ने कहा-झारखंड सरकार के साथ कर रहे हैं बातचीत
- पतंजलि के प्रवक्ता ने मिंट से बताया, हम झारखंड सरकार के साथ बातचीत कर रहे हैं।
- हम सूबे में औद्योगिक विकास पर काम करेंगे।
- प्रवक्ता ने कहा कि साहिबगंज जिला हमारी कंपनी के लिए रणनीतिक लोकेशन साबित होगा।
चीन समेत इन देशों में कंपनी अपने प्रोडक्ट्स बेचेगी
- इस टर्मिनल के जरिए पंतजलि चीन, म्यांमार, बांग्लादेश और अन्य दक्षिण पूर्व एशियाई देशों में अपने सामान का निर्यात करने की योजना में है।
- जलमार्ग के जरिए कंपनी को लॉजिस्टिक्स पर कम खर्च करना होगा और इससे वह आसानी से पूर्वी एशिया के देशों में अपनी पैठ बना सकेगी।
मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर पर भारत की पकड़ से डरा चीन
- ऐसे वक्त में जब चीन की एक्सपोर्ट बेस्ड इंडस्ट्री कमजोर हो रही है, तब भारत इस दिशा में अपनी पकड़ मजबूत करने की तैयारी में है।
- खुद चीन भी भारत में लेबर कॉस्ट कम होने के चलते मैन्युफैक्चरिंग में कड़े मुकाबले की आशंका से परेशान है।
- हाल ही में चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स ने लिखा था, चीन को मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में भारत की बढ़ती क्षमता को ध्यान में रखना चाहिए।
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