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Hindi News पैसा बिज़नेस संसदीय समिति ने सरकार के आर्थिक पैकेज को बताया ‘अपर्याप्त', कोरोना में MSME की हालत हुई खस्ता

संसदीय समिति ने सरकार के आर्थिक पैकेज को बताया ‘अपर्याप्त', कोरोना में MSME की हालत हुई खस्ता

एक संसदीय समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि महामारी से पीड़ित अर्थव्यवस्था के पुनरुद्धार के लिए सरकार द्वारा घोषित प्रोत्साहन पैकेज ‘‘अपर्याप्त’’ है।

<p>संसदीय समिति ने...- India TV Paisa Image Source : PTI संसदीय समिति ने सरकार के आर्थिक पैकेज को बताया ‘अपर्याप्त', कोरोना में MSME की हालत हुई खस्ता 

नयी दिल्ली। एक संसदीय समिति ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि महामारी से पीड़ित अर्थव्यवस्था के पुनरुद्धार के लिए सरकार द्वारा घोषित प्रोत्साहन पैकेज ‘‘अपर्याप्त’’ है। उद्योग से संबंधित संसद की स्थायी समिति ने कोविड-19 महामारी के प्रकोप से सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (एमएसएमई) क्षेत्र पड़े असर के संबंध में अपनी रिपोर्ट में कहा कि महामारी की पहली लहर के बाद आई दूसरी लहर ने अर्थव्यवस्था को, और खासतौर से एमएसएमई क्षेत्र को भारी नुकसान पहुंचाया। 

रिपोर्ट के मुताबिक, ‘‘समिति ने पाया कि महामारी से प्रभावित अर्थव्यवस्था के पुनरुद्धार के लिए सरकार द्वारा घोषित प्रोत्साहन पैकेज अपर्याप्त है, क्योंकि अपनाए गए उपाय ऋण की पेशकश और दीर्घकालिक उपाय के संबंध में अधिक थे और तत्काल राहत के तौर पर मांग पैदा करने के लिए नकदी प्रवाह में सुधार जैसे उपायों पर कम जोर दिया गया।’’ 

समिति ने सिफारिश की है कि सरकार को एमएसएमई सहित अर्थव्यवस्था को महामारी के प्रकोप से उबरने और मांग, निवेश, निर्यात तथा रोजगार सृजन को बढ़ावा देने के लिए तुरंत एक बड़ा आर्थिक पैकेज लाना चाहिए। समिति के समक्ष विभिन्न एमएसएमई संघों ने कहा है कि व्यापार में तेज गिरावट के कारण ज्यादातर एमएसएमई को बड़े नकदी संकट का सामना करना पड़ा। 

मंगलवार को जारी रिपोर्ट के अनुसार इन संगठनों ने समिति को बताया, ‘‘अनुमान है कि लगभग 25 प्रतिशत एमएसएमई कर्ज अदायगी में चूक कर सकते हैं, क्योंकि कई एमएसएमई को बैंकों से कार्यशील पूंजी निकालना मुश्किल हो रहा है।’’ समिति ने सिफारिश की है कि कोविड-19 महामारी के कारण छोटे उद्योगों के अस्तित्व को बचाना जरूरी है और इसके लिए सरकार को उन्हें तत्काल जरूरी नकदी सहायता देनी चाहिए।

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