मुंबई। सिगरेट के पैकेट पर चेतावनी की बड़ी तस्वीर छापने को लेकर चल रही बहस के बीच एक सर्वेक्षण में 70 फीसदी सिगरेट पीने वालों ने कहा है कि इसका उनकी आदत पर कुछ खास असर पड़ने वाला नहीं है। बीमा कंपनी ICICI लोंबार्ड ने यह सर्वेक्षण किया है। सरकार ने सिगरेट कंपनियों को निर्देश दिया है कि स्वास्थ्य संबंधी चेतावनी का आकार बढ़ाकर 85 फीसदी करें, जो कि फिलहाल 20 फीसदी है। नए दिशानिर्देश इस साल अप्रैल से प्रभावी हो गए हैं।
रिपोर्ट के अनुसार सर्वेक्षण में शामिल 72 फीसदी लोगों ने कहा कि बड़ी तस्वीर वाली चेतावनी और पैकेजिंग को कम आकर्षक बनाने से उनकी सिगरेट पीने की आदत पर बहुत कम प्रभाव पड़ेगा। सर्वेक्षण में पाया गया कि 41 फीसदी लोगों का मानना है कि सार्वजनिक स्थानों पर सिगरेट पीने पर प्रतिबंध का सख्ती से पालन हो तो ज्यादा अच्छा होगा। जबकि 24 फीसदी का मानना है कि इसपर कर की दर बढ़ाए जाने से सिगरेट पीने वालों को आदत छोड़ने पर मजबूर होना पड़ सकता है।
सर्वेक्षण की सबसे महत्वपूर्ण बात जो सामने आई है वह यह कि इसमें सिर्फ 10 फीसदी लोगों ने माना कि इस समस्या से निपटने के लिए स्वास्थ्य बीमा पॉलिसी लेनी चाहिए। ICICI लोंबार्ड जनरल इंश्योरेंस कंपनी के मुख्य बीमाकर्ता संजय दत्ता ने कहा, इससे स्पष्ट होता है कि बीमा नियामक और समाज के तौर पर हमें सिगरेट पीने के नुकसान के बारे में पूर्ण जागरूकता बढ़ाने के अलावा काफी लंबा सफर तय करना है। काम से जुड़ा दबाव (35 फीसदी) और संगति का दबाव (38 फीसदी) सिगरेट पीने की आदत के पीछे प्रमुख वजह हैं और 49 फीसदी लोगों का मानना है कि उनके लिए इस आदत को छोड़ना मुश्किल हो गया है। इसके अलावा 20 फीसदी का कहना है कि यह उनकी एक अन्य आदत की तरह है, जो ज्यादा नहीं है और इससे उन्हें कोई परेशानी नहीं होगी।
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