मुंबई। बुधावर को रिलायंस कैपिटल की ओर से गोल्डमैन सैक्स का भारतीय म्यूचुअल फंड कारोबार खरीदने की खबर के बाद गुरुवार को जापानी फंड हाउस नोमूरा ने बाजार से निकलने के संकेत दिए हैं। पिछले सात साल में भारत के भीड़भाड़ वाले म्यूचुअल फंड बाजार से निकलने वाली 10वीं विदेशी कंपनी हो सकती है। इस तरह की चर्चा है कि नोमूरा सार्वजतनिक क्षेत्र की बीमा कंपनी एलआईसी नोमूरा के साथ अपना पांच साल पुराना संयुक्त उद्यम समाप्त करने की तैयारी कर रही है।
इसके बाद देश में कुल 43 म्यूचुअल फंड बचे हैं जो 13,000 अरब डॉलर से अधिक की परिसंपत्तियों का प्रबंधन कर रहे हैं। नोमूरा के संयुक्त उद्यम से बाहर निकलने की खबरें ऐसे समय आई हैं जब गोल्डमैन साक्स ने अपना समूचा कारोबार रिलायंस कैपिटल एसेट मैनेजमेंट को 243 करोड़ रुपए में बेच दिया है। वहीं, गुरुवार को जारी हुए आंकड़ों के मुताबिक अप्रैल से सितंबर के दौरान देश में कुल 21 लाख इक्विटी म्यूचुअल फंड खाता धारकों की संख्या बढ़ी है।
इक्विटी म्यूचुअल फंड खातों की संख्या अप्रैल-सितंबर में 21 लाख बढ़ी
इक्विटी म्यूचुअल फंड कोषों के निवेशक खातों की संख्या चालू वित्त वर्ष के पहले छह महीनों में 21 लाख से अधिक बढ़ी है। ऐसा मुख्य तौर पर खुदरा क्षेत्र में मजबूत भागीदारी से हुआ। यह बढ़ोतरी पिछले पूरे वित्त वर्ष 2014-15 में 25 लाख फोलियो जुड़ने के अतिरिक्त है। फोलियो निवेशक खातों को कहते हैं और एक निवेशक के पास कई खाते हो सकते हैं।
भारतीय प्रतिभूति एवं विनिमय बोर्ड (सेबी) के आंकड़ों के मुताबिक 44 म्यूचुअल फंड कंपनियों के निवेशक खातों की संख्या पिछले महीने 21.5 लाख बढ़कर 3,38,40,981 हो गई जो मार्च के आखिर तक 3,16,91,619 थी।
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