प्रीपेड वैधता अवधि बढ़ाने के लिए आपरेटरों को नया निर्देश देने की जरूरत नहीं: TRAI
कंपनियों के मुताबिक लॉकडाउन बढ़ने के साथ ही उन्होने निम्न आय वर्ग के ग्राहकों की सुविधा के लिए कदम उठाए हैं
नई दिल्ली। भारतीय दूरसंचार नियामक प्राधिकरण यानि ट्राई का मानना है कि कोरोना वायरस महामारी की वजह से दूरसंचार आपरेटरों को प्रीपेड ग्राहकों की वैधता अवधि बढ़ाने के बारे में फिलहाल कोई नया निर्देश देने की जरूरत नहीं है। इन आपरेटरों ने लॉकडाउन के दौरान निम्न आय वर्ग के प्रीपेड ग्राहकों की वैधता अवधि बढाने की पेशकश की है। नियामकीय सूत्रों ने कहा कि आपरेटरों ने ट्राई द्वारा इस मुद्दे पर की गई पूछताछ का जवाब और उसके समर्थन में आंकड़े भी दिए हैं। ट्राई ने उनके जवाबों की विस्तृत समीक्षा की है। सूत्रों ने कहा कि कंपनियों ने ट्राई के निर्देशों का अनुपालन करते हुए राष्ट्रव्यापी लॉकडाउन (बंद) के दौरान निम्न आय वर्ग के उपभोक्ताओं के लिए उपायों की घोषणा की है। ऐसे में नियामक का मानना है कि आपरेटरों को अभी कोई नए निर्देश देने की जरूरत नहीं है।
ट्राई के सूत्रों ने पीटीआई-भाषा से कहा कि प्राधिकरण की निगाह स्थिति पर है। उसका मानना है कि मामले की आगे फिर समीक्षा की जाएगी। इस बारे में भारती एयरटेल, वोडाफोन आइडिया और रिलायंस जियो को भेजे ई-मेल का जवाब नहीं मिला। सरकार ने कोविड- 19 के प्रसार को रोकने के लिये देशव्यापी लॉकडाउन को पहले चरण में 14 अप्रैल तक लागू करने के बाद दूसरे चरण में तीन मई तक लागू किया। दूरसंचार आपरेटरों ने पहले चरण में निम्न आय वर्ग के प्रीपेड ग्राहकों को लाभ देने की घोषणा की। वोडाफोन आइडिया ने हाल ही में 9 करोड़ निम्न आय वर्ग के प्रीपेड ग्राहकों तीन मई तक के लिये इनकमिंग सेवा का विस्तार करने का लाभ दिया था। भारती एयरटेल ने भी निम्न आय वर्ग के तीन करोड़ प्रीपेड ग्राहकों के लिये वैधता अवधि को तीन मई तक के लिये बढ़ा दिया। रिलायंस जियो ने भी सभी जियो ग्राहकों के लिये इनकमिंग कॉल की वैधता बढ़ी दी। कंपनी ने कहा कि इन चुनौतीपूर्ण दिनों के दौरान जो भी रिचार्ज नहीं करा पाये उनको इससे लाभ मिलेगा।