मोदी सरकार ने की रबी फसलों के MSP की घोषणा, गेहूं के लिए मिलेगा 2015 रुपये/क्विंटल समर्थन मूल्य
केंद्रीय कृषि मंत्रालय की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार सरसों के समर्थन मूल्य में 400 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की गई है
नई दिल्ली। केंद्र सरकार ने आगामी फसल खरीद वर्ष 2022-23 के लिए रबी फसलों का समर्थन मूल्य (MSP) घोषित कर दिया है। सरकार ने गेहूं सहित सरसों, चना, मसूर और जौ के समर्थन मूल्य में जोरदार बढ़ोतरी की है। गेहूं का समर्थन मूल्य 40 रुपए प्रति क्विंटल बढ़कर 2015 रुपए प्रति क्विंटल किया गया है, जो गेहूं की लागत (1008 रुपए प्रति क्विंटल) से लगभग 100 प्रतिशत ज्यादा है। अन्य सभी प्रमुख रबी फसलों का समर्थन मूल्य भी बढ़ा है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में बुधवार को हुई केंद्रीय मंत्रिमंडल की बैठक में रबी फसलों के एमएसपी को बढ़ाने का फैसला किया गया।
केंद्रीय कृषि मंत्रालय की तरफ से दी गई जानकारी के अनुसार सरसों के समर्थन मूल्य में 400 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की गई है और फसल खरीद वर्ष 2022-23 के लिए अब सरसों का समर्थन मूल्य बढ़कर 5050 रुपए प्रति क्विंटल हो गया है, जो सरसों उत्पादन की लागत (2523 रुपए प्रति क्विंटल) से लगभग 100 प्रतिशत अधिक है। सरकार के इस प्रयास से देश में तिलहन उत्पादन बढ़ाने में मदद मिलेगी।
रबी दलहन की बात करें तो चने और मसूर के समर्थन मूल्य में भी जोरदार बढ़ोतरी हुई है, चने का समर्थन मूल्य 130 रुपए प्रति क्विंटल बढ़ाया गया है और अब चने का MSP बढ़कर 5230 रुपए प्रति क्विंटल हो गया है। मसूर का MSP 400 रुपए प्रति क्विंटल बढ़कर 5500 रुपए प्रति क्विंटल घोषित किया गया है।
एमएसपी (न्यूनतम समर्थन मूल्य) वह दर है जिसपर सरकार किसानों से अनाज की खरीद करती है। वर्तमान में, सरकार खरीफ और रबी दोनों सीजन में उगाई जाने वाली 23 फसलों के लिए एमएसपी तय करती है। रबी फसलों की बुआई अक्टूबर से शुरू होती है। गेहूं और सरसों प्रमुख रबी फसल हैं।
आधिकारिक बयान के मुताबिक सीसीईए ने छह रबी फसलों के एमएसपी में वृद्धि को मंजूरी दी है। गेहूं एमएसपी में 40 रुपये की वृद्धि कर 2015 रुपये प्रति क्विंटल किया गया है। 2020-21 फसल वर्ष के लिए गेहूं का एमएसपी 1975 रुपये प्रति क्विंटल था। गेहूं की उत्पादन लागत 1008 रुपये प्रति क्विंटल रहने का अनुमान व्यक्त किया गया है। सरकार ने 2021-22 रबी विपणन वर्ष के दौरान 4.3 करोड़ टन से अधिक रिकॉर्ड गेहूं की खरीद की है।
सरकार ने जौ के समर्थन मूल्य में भी 35 रुपए प्रति क्विंटल की बढ़ोतरी की है और मूल्य बढ़कर 1635 रुपए प्रति क्विंटल हो गया है जो उत्पादन लागत से लगभग 60 प्रतिशत ज्यादा है। रबी विपणन वर्ष 2022-23 के लिए रबी फसलों के एमएसपी में वृद्धि केंद्रीय बजट 2018-19 में की गई घोषणा के अनुरूप है। उस समय वित्त मंत्री ने घोषणा की थी कि किसानों को उचित मूल्य प्रदान करने के लिए एमएसपी को फसल उत्पादन के अखिल भारतीय औसत लागत का 1.5 गुना के बराबर रखा जाएगा।
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