जेद्दाह। क्रूड ऑयल की लगातार बढ़ती कीमतों के बीच सऊदी अरब के ऊर्जा मंत्री खालेद अल फालेह ने कहा कि वैश्विक बाजार में कच्चे तेल की ऊंची कीमतें वहन करने की क्षमता है। उनके इस बयान के बाद अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने प्रतिक्रिया देते हुए ओपेक देशों पर कीमतों को भड़काने का आरोप लगाया। फालेह का बयान ऐसे समय आया है जब कच्चे तेल की कीमतें तीन वर्ष के उच्च स्तर पर पहुंच गई हैं।
विशेषज्ञों का मानना है कि दुनिया का सबसे बड़ा कच्चा तेल निर्यातक देश सऊदी अरब घरेलू वित्तीय दिक्कतों को दूर करने के लिए तेल की कीमतों में तेजी चाहता है और आईपीओ से पहले तेल कंपनी अरामको के पूंजीकरण को बढ़ाना चाहता है। ट्रंप ने ट्वीट में कहा कि ऐसा लगता है कि ओपेक फिर से ऐसा करने को है। समुद्र में तेल से भरे जहाज समेत सभी क्षेत्रों में रिकॉर्ड मात्रा में तेल है, कच्चे तेल की कीमतों को कृत्रिम रूप से बढ़ाया जा रहा है। यह अच्छा नहीं है और न ही स्वीकार किया जाएगा।
फालेह ने तेल उत्पादक देशों ओपेक एवं गैर-ओपेक की यहां होने वाली बैठक से पहले संवाददाताओं से कहा कि मैंने मौजूदा कीमतों का मांग पर कोई प्रभाव नहीं देखा है। हमने तेल के पहले भी इससे अधिक दाम देखे हैं, जो मौजूदा स्तर से लगभग दोगुना रहे हैं।
वैश्विक स्तर पर ऊर्जा क्षेत्र में घटी ऊर्जा तीव्रता और ऊंची उत्पादकता को देखते हुए मुझे लगता है कि बाजार में ईंधन की ऊंची कीमतें झेलने की क्षमता है। फालेह ने जोर देकर कहा कि पेट्रोलियम निर्यातक देशों (ओपेक) ने तेल की कीमतें निर्धारित नहीं की हैं।
कच्चे तेल की कीमतों में उतार-चढ़ाव को लेकर चेतावनी देते हुए सऊदी मंत्री ने कहा कि हमने कभी कीमतें तय नहीं की, कीमतें बाजार में तय होती हैं। उन्होंने कहा कि कीमतों में अस्थिरता हमारी दुश्मन है। ओपेक और गैर-ओपेक तेल उत्पादक देशों की बैठक में संयुक्त अरब अमीरत के ऊर्जा मंत्री सुहेल अल- मजरूई ने कहा कि हम कीमतें लक्षित नहीं करते हमारा उद्देश्य बाजार में स्थिरता लाना है।
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