नई दिल्ली। नोटबंदी के फैसले के बाद हो रही दिक्कतों के मद्देनजर देश के पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने चेतावनी देते हुए कहा है कि यह फैसले को एक विशाल त्रासदी है और अगले कुछ महीनों में देश को मुसीबत भरे वक्त के लिए तैयार रहना चाहिए। हालांकि मनमोहन सिंह ने PM नरेन्द्र मोदी के इरादे की तारीफ भी की।
नोटबंदी का फैसला हड़बड़ी में उठाया गया कदम
- न्यूजपेपर ‘द हिंदू’ के लिए लिखे गए एक लेख में मनमोहन सिंह ने यह भी कहा कि इस फैसले से ईमानदार भारतीयों को जबर्दस्त चोट पहुंचेगी जबकि जिनके पास कालाधन है, उन्हें ज्यादा नुकसान नहीं होगा।
- पूर्व प्रधानमंत्री ने नोटबंदी के फैसले को हड़बड़ी में उठाया गया कदम करार दिया और कहा कि इससे आम भारतीयों को काफी दिक्कतों का सामना करना पड़ेगा।
करोड़ों भारतीयों के भरोसे को लगी चोट
- मनमोहन ने लिखा, इस फैसले ने उन करोड़ों भारतीयों के भरोसे और आत्मविश्वास को जबर्दस्त चोट पहुंचाई है जिन्होंने खुद की और अपने पैसे की सुरक्षा के लिए सरकार पर भरोसा जताया था।
मनमोहन ने की मोदी के इरादों की तारीख
- 1991 में देश में हुए आर्थिक सुधारों के वक्त वित्त मंत्री रहे मनमोहन सिंह ने नोटबंदी के फैसले के पीछे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के इरादे की तारीफ भी की।
- उन्होंने कहा कि अगर इसका इरादा फर्जी करंसी, कालाधन और भ्रष्टाचार से मुकाबला करना है तो यह सराहनीय है।
हर कैश कालाधन नहीं होता
- इसके साथ ही मनमोहन सिंह ने इस बात को भी रेखांकित किया कि हर कैश कालाधन नहीं होता है और सभी कालेधन को कैश के रूप में जमा नहीं किया जाता है।
इकोनॉमी पर हो सकता है निगेटिव असर
- उन्होंने कहा, भारत की कामगार आबादी का 90 फीसदी हिस्सा अभी भी कैश के रूप में मेहनताना पाता है।
- इनमें सैकड़ों खेती से जुड़े कामगार, निर्माण क्षेत्र से जुड़े लोग और अन्य शामिल हैं।
- सिंह ने कहा कि इस फैसले का जीडीपी ग्रोथ रेट और नई नौकरियां पैदा होने पर खराब असर हो सकता है।
- उन्होंने कहा, मेरी यह राय है कि बतौर एक देश हमें आगामी महीनों में मुश्किल वक्त के लिए खुद को तैयार करना चाहिए।
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