‘Koo’ ने बढ़ाई ‘Twitter’ की टेंशन, एक हफ्ते में 10 गुना बढ़े यूजर
ट्विटर जैसे ही काम करने वाले कू सोसल नेटवर्क मंत्र पर अब 30 लाख से अधिक उपयोगकर्ता हैं।
नयी दिल्ली। माइक्रो ब्लॉगिंग मंच ट्विटर को लेकर बढ़ते विवाद के बीच स्वदेशी सोशल मीडिया ऐप ‘कू’ को केंद्र सरकार के मंत्रियों और सरकारी विभागों का समर्थन मिलने के चलते उसके उपयोगकर्ताओं की संख्या तेजी से बढ़ रही है। सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय ने ट्विटर के बारे में अपना रुख बताने के लिए कू का इस्तेमाल किया है। मंत्रालय ने ट्विटर से कई कथित भड़काऊ सामग्री को वापस लेने का आदेश दिया था, जिसका ट्विटर ने अभी पूरी तरह पालन नहीं किया।
Twitter को भारत का जवाब, मोदी सरकार के मंत्री करने लगे koo का इस्तेमाल
सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय और पीयूष गोयल जैसे कुछ मंत्रियों ने लोगों से कू को अपनाने की अपील की , जिसके चलते इसके उपयोगकर्ताओं की संख्या में तेजी से बढ़ोतरी हो रही है। ट्विटर जैसे ही काम करने वाले कू सोसल नेटवर्क मंत्र पर अब 30 लाख से अधिक उपयोगकर्ता हैं। कू ऐप के डाउनलोड इस हफ्ते 10 गुना बढ़ गए। कू के लोगो में ट्विटर के नीले पक्षी के विपरीत एक पीला पक्षी है।
क्या है Koo एप, जिसके जरिए भारत सरकार ने उड़ाई Twitter की नींद
कू के सह-संस्थापक मयंक बिदावत ने बताया, ‘‘हमारे पास लगभग 15 लाख सक्रिय उपयोगकर्ता सहित कुल 20 लाख से अधिक उपयोगकर्ता थे। अब, हमने 30 लाख का आंकड़ा पार कर लिया है।’’ ट्विटर के 1.75 करोड़ उपयोगकर्ता हैं और जनता के साथ संवाद करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और उनके कैबिनेट मंत्रियों द्वारा ट्विटर का इस्तेमाल किया जाता है। दिलचस्प बात यह है कि कू के सह-संस्थापक अप्रमेय राधाकृष्ण ने इस मंच की बढ़ती लोकप्रियता के बारे में बताने के लिए ट्विटर का इस्तेमाल किया और लिखा, ‘‘हमारे सिस्टम पहले से अधिक लोड का सामना कर रहे हैं। हम पर भरोसा रखने के लिए धन्यवाद। हमारी टीम इसे ठीक करने के लिए काम कर रही है।’’
पढ़ें- बैंक अकाउंट से रजिस्टर्ड मोबाइल नंबर बदलना हुआ बेहद आसान, ये रहा पूरा प्रोसेस
पढ़ें- किसानों के खाते में आएंगे 36000 रुपये, आज ही रजिस्ट्रेशन कर फ्री में उठाएं मानधन योजना का फायदा
अप्रमेय राधाकृष्ण और मयंक बिदावत ने पिछले साल कू की शुरुआत की थी, ताकि उपयोगकर्ताओं को अपनी बात कहने और भारतीय भाषाओं के मंच के साथ जुड़ने का अवसर मिल सके। यह हिंदी, तेलुगु और बंगाली सहित कई भाषाओं में उपलब्ध है। कू इंफोसिस के पूर्व कार्यकारी टीवी मोहनदास पई द्वारा समर्थित है और इसने पिछले हफ्ते एक्सल, कलारी कैपिटल, ब्लूम वेंचर्स एंड ड्रीम इनक्यूबेटर और थ्रीवनफोर कैपिटल से 41 लाख अमरीकी डॉलर जुटाए थे। यह पिछले साल सरकार द्वारा शुरू की गई आत्मनिर्भर इनोवेशन चैलेंज के विजेताओं में से एक था।