इंडियन इन्वेस्टर्स का प्यार IT सेक्टर के लिए अभी भी बरकरार, दोगुना रिटर्न पाकर हो रहे हैं मालामाल
इंडियन इन्वेस्टर्स के बीच इंफोर्मेशन टेक्नोलॉजी (आईटी) शेयरों के प्रति प्यार कम नहीं हुआ है, फिर चाहे वह नए शेयर हों या पुराने।
नई दिल्ली। इंडियन इन्वेस्टर्स के बीच इंफोर्मेशन टेक्नोलॉजी (आईटी) शेयरों के प्रति प्यार कम नहीं हुआ है, फिर चाहे वह नए शेयर हों या पुराने। इसलिए भारत की सबसे बड़ी इंफ्रास्ट्रक्चर और इंजीनियरिंग कंपनी एलएंडटी की आईटी कंपनी एलएंडटी इंफोटेक ने इस माह आईपीओ के जरिये इक्विटी मार्केट में प्रवेश करने का निर्णय लिया तो इसके शेयर खरीदने के लिए निवेशकों की लंबी लाइन लग गई।
1243 करोड़ रुपए वाला यह आईपीओ सब्सक्रिप्शन के लिए 11 जुलाई को खुला था और 13 जुलाई को बंद हुआ। इन तीन दिनों में 10 लाख से ज्यादा एप्लीकेशन हासिल हुईं। यह संख्या पिछले पांच सालों के दौरान किसी शेयर की बिक्री के लिए हासिल होने वाली एप्लीकेशन में सबसे ज्यादा है। एलएंडटी इंफोटेक का आईपीओ 12 गुना ओवरसब्सक्राइब्ड हुआ है।
इस आईटी कंपनी के आईपीओ पर 2014 से काम चल रहा था। इसने सितंबर 2015 में सिक्यूरिटीज एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ इंडिया (सेबी) के समक्ष ड्राफ्ट रेड-हेरिंग प्रोस्पेक्ट्स (डीआरएचपी) प्रस्तुत किया था। सेबी ने तीन माह बाद इसे आईपीओ लाने की मंजूरी दी। लेकिन एलएंडटी इंफोटेक ने अप्रैल 2016 में ऑफर स्ट्रक्चर में कुछ बदलाव और अन्य मुद्दों का हवाला देते हुए अपना प्रस्ताव वापस ले लिया। इसी महीने कंपनी ने नया डीआरएचपी फाइल किया। एलएंडटी इंफोटेक की स्थापना 1996 में की गई थी और यह टेस्टिंग, एंटरप्राइज सॉल्यूशन और डिजिटल सॉल्यूशंस जैसी सर्विस उपलब्ध कराती है। वित्त वर्ष 2015-16 में मुंबई मुख्यालय वाली इस कंपनी का रेवेन्यू 6,143 करोड़ रुपए था। कंपनी के ग्राहकों में फॉर्च्यून 500 लिस्ट में शामिल 41 कंपनियां भी शामिल हैं।
भारत की IT इंडस्ट्री है सोने का अंडा देने वाली
इन्वेस्टर्स के लिए भारत की आईटी इंडस्ट्री सोने का अंडा देने वाली है। निवेशकों के बीच आईटी शेयर लगातार सबसे पसंदीदा बने हुए हैं। 143 अरब डॉलर वाली भारतीय आईटी और बिजनेस प्रोसेस मैनेजमेंट इंडस्ट्री वार्षिक आधार पर 8.5 फीसदी की दर से ग्रोथ कर रही है और यहां 35 लाख लोगों को रोजगार मिला हुआ है। निवेशकों को भरोसा है कि कमजोर रुपए के साथ रेवेन्यू बढ़ने से सेंसेक्स पर आईटी शेयर बेहतर प्रदर्शन करेंगे, क्योंकि अधिकांश आईटी कंपनियों की कमाई डॉलर में होती है।
भारत के IPO मार्केट में आया बूम
भारत के आईपीओ मार्केट में भी इस समय बूम आया हुआ है। 2015 कैलेंडर वर्ष में पिछले चार सालों में सबसे ज्यादा आईपीओ बाजार में आए हैं। वित्त वर्ष 2016-17 की पहली तिमाही (अप्रैल-जून) भी आईपीओ के लिहाज से काफी मजबूत रही है, कंपनियों ने आईपीओ के जरिये इस दौरान बाजार से 5,728 करोड़ रुपए जुटाएं हैं, जो पिछले नौ साल का उच्चतम स्तर है।
नई लिस्टेड कंपनियों के शेयर इश्यू प्राइस से ऊपर
2016 कैलेंडर वर्ष में अब तक बाजार में लिस्ट हुई 11 कंपनियों में से 7 के शेयरों में अच्छा लाभ दर्ज हुआ है। मई में शेयर बाजार में लिस्ट होने वाली माइक्रोफाइनेंस कंपनी उज्जीवन फाइनेंशियल सर्विसेज के शेयर अपने आईपीओ मूल्य पर दोगुना से अधिक बढ़ चुका है। अप्रैल में लिस्ट होने वाली इक्विटास होल्डिंग्स और इन्फीबीम कॉरपोरेशन के शेयर अपने निर्गम मूल्य से क्रमश: 71 फीसदी और 62 फीसदी ऊपर चल रहे हैं। पराग मिल्क फूड्स के शेयर में 40.58 फीसदी का उछाल दर्ज हुआ है। टीमलीज सर्विसेज का शेयर 29.38 फीसदी तथा थायरोकेयर टेक्नोलॉजीज का शेयर 27 फीसदी चढ़ चुका है। महानगर गैस का शेयर अपने निर्गम मूल्य से 22.92 फीसदी ऊपर है।