नई दिल्ली| केंद्र सरकार ने आगामी वित्त वर्ष 2021-22 में चार लाख टन उड़द आयात का कोटा तय किया है, जिसकी अधिसूचना जारी कर दी गई है। वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय की ओर से जारी अधिसूचना के अनुसार, दाल मिल मालिक और ऱिफायनरी अगले वित्त वर्ष के दौरान चार लाख टन उड़द आयात कर सकते हैं। दलहन बाजार विशेषज्ञ बताते हैं कि उड़द आयात होने से देश में दालों के दाम में वृद्धि पर लगाम लग सकती है। देश के विभिन्न शहरों में इस समय उड़द दाल का खुदरा भाव 100 रुपये किलो से ऊंचा चल रहा है।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्रालय ओर से बुधवार को जारी अधिसूचना में कहा गया है कि प्रतिबंधित आयात नीति के तहत वित्त वर्ष 2021-22 के लिए उड़द आयात का चार लाख टन का कोटा है जो 31 मार्च 2022 तक की अवधि के लिए अधिसूचित किया गया है। मंत्रालय में संयुक्त सचिव दिवाकर नाथ मिश्रा की ओर से जारी अधिसूचना में कहा गया है कि विदेश व्यापार निदेशालय द्वारा अलग से अधिसूचित किए जाने की प्रक्रिया के अनुसार आयात प्रतिबंध के तहत उड़द के आयात की अनुमति सिर्फ मिल मालिकों/रिफाइनरों को दी जाएगी और इसका वितरण बराबर अथवा आवेदन की गई मात्रा, जो भी कम हो, के लिए किया जाएगा।
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केंद्रीय उपभोक्ता मामले के विभाग की वेबसाइट पर उपलब्ध आवश्यक वस्तुओं की कीमत सूची के अनुसार, देश भर में उड़द दाल की खुदरा कीमत तीन मार्च 2021 को न्यूनतम 70 रुपये और अधिकतम 160 रुपये किलो थी। देश की राजधानी दिल्ली में बुधवार को उड़द दाल का भाव 118 रुपये किलो था। कीमतों में बढ़त को नियंत्रण करने के लिए ही सरकार ने आयात का कोटा जारी किया है। इससे घरेलू मांग को पूरा किया जा सकेगा और कीमतों में गिरावट आ सकेगी।
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