नई दिल्ली। इनकम टैक्स विभाग हांगकांग के अरबपति बिजनेसमैन ली का-शिंग की सीके हचिसन होल्डिंग्स लिमिटेड पर 7,900 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया है। यह जुर्माना इतनी ही राशि के टैक्स डिमांड नोटिस पर लगाया गया है, जो एक दशक पूर्व सीके हचिसन द्वारा भारत में अपने मोबाइल फोन बिजनेस को वोडाफोन ग्रुप पीएलसी को बेचने के एवज में हुए फायदे के लिए दिया गया है।
हचिसन टेलीकम्युनिकेशंस इंटरनेशनल लिमिटेड ने भारत में मोबाइल फोन कारोबार के संयुक्त उद्यम में अपनी हिस्सेदारी 2007 में ब्रिटेन के वोडाफोन ग्रुप पीएलसी को बेची थी। उस सौदे में हचिसन को हुए पूंजीगत लाभ कर को चुकाने के मामले में संबंधित पक्षों में विवाद चल रहा है।
हांगकांग स्टॉक एक्सचेंज को दी गई जानकारी में कंपनी ने कहा है कि उसकी इकाई हचीसन टेलीकम्युनिकेशंस इंटरनेशनल लिमिटेड को पिछले साल 7,900 करोड़ रुपए का टैक्स नोटिस मिला था। उसे अब 9 अगस्त को इतनी ही राशि का जुर्माना भरने का ऑर्डर प्राप्त हुआ है।
इसमें कहा गया है कि सीके हचिसन इकाई इस टैक्स डिमांड नोटिस की वैधता को लेकर मतभेद रखती है।
सीके हचिसन होल्डिंग्स लिमटेड की अप्रत्यक्ष रूप से पूर्ण स्वामित्व वाली इकाई, हचिसन टेलीकॉम को भारतीय कर प्रशासन से 24 नवंबर 2016 को कर आकलन आदेश प्राप्त हुआ था। यह कर आकलन 2007 में कंपनी के वोडाफोन के साथ हुए सौदे से हुए कथित लाभ पर भेजा गया। कर विभाग ने 16,430 करोड़ रुपए के इस सौदे से हासिल पूंजीगत लाभ पर 25 जनवरी को 7,900 करोड़ रुपए का अंतिम आकलन भेजा है। अब इस राशि पर आयकर विभाग ने तीन जुलाई को करीब 7,900 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाने का आदेश जारी किया है।
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