नई दिल्ली। वित्त मंत्री अरुण जेटली ने गुरुवार को कहा कि सरकार चालू वित्त वर्ष के बचे हुए 3 महीनों में सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में 83,000 करोड़ रुपए की पूंजी डालेगी। जेटली ने कहा कि सरकारी बैंकों में पूंजी डालने से उनकी ऋण देने की क्षमता बढ़ाने में मदद मिलेगी।
इससे पहले, दिन में सरकार ने अनुपूरक अनुदान मांग की दूसरी किस्त के जरिये सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में 41,000 करोड़ रुपए की पूंजी डालने के लिए संसद की मंजूरी मांगी। इससे चालू वित्त वर्ष में बैंकों में 65,000 करोड़ रुपए के बजाये कुल 1.06 लाख करोड़ रुपए की पूंजी डाली जाएगी।
जेटली ने संवाददाताओं से कहा कि पूंजी डाले जाने से सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों की कर्ज देने की क्षमता बढ़ेगी और आरबीआई के तत्काल सुधारात्मक कार्रवाई (पीसीए) रूपरेखा से बाहर निकलने में मदद मिलेगी।
वित्त मंत्री ने आगे कहा कि सार्वजनिक क्षेत्र के बैंकों में फंसे कर्ज (एनपीए) की पहचान का काम पूरा हो चुका है और एनपीए में कमी आनी शुरू हो गई है।
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