नई दिल्ली। वैश्विक स्तर पर सोने की मांग जुलाई-सितंबर की तिमाही में 19 प्रतिशत घटकर 892.3 टन रही। यह सोने की वैश्विक मांग का 2009 की तीसरी तिमाही के बाद से सबसे निचला स्तर है। वर्ल्ड गोल्ड काउंसिल (WGC) की रिपोर्ट में कहा गया है कि कोरोना वायरस महामारी की वजह से पैदा हुई दिक्कतों से सोने की मांग में भारी गिरावट आई है। जुलाई-सितंबर, 2019 में सोने की वैश्विक मांग 1,100.2 टन थी। सोने की मांग के रुख पर डब्ल्यूजीसी की तीसरी तिमाही की रिपोर्ट में कहा गया है कि सोने की कुल मांग तो घटी है, लेकिन निवेश मांग में अच्छी वृद्धि हुई है। तिमाही के दौरान सोने की कुल निवेश मांग 21 प्रतिशत बढ़कर 494.6 टन पर पहुंच गई।
तिमाही के दौरान वैश्विक स्तर पर निवेशकों ने 222.1 टन सोने की छड़ और सिक्के खरीदे। इसके अतिरिक्त उन्होंने गोल्ड ईटीएफ के जरिये 272.5 टन सोना खरीदा। इस साल में आज की तारीख तक गोल्ड ईटीएफ में रिकॉर्ड 1,003.3 टन की बढ़ोतरी हुई है। 2019 की तीसरी तिमाही के दौरान कुल निवेश मांग 408.1 टन रही थी। इसमें से निवेशकों ने 149.4 टन सोने की छड़ और सिक्के खरीदे थे। वहीं 258.7 टन की मांग गोल्ड ईटीएफ में रही थी।
रिपोर्ट में कहा गया है कि कई बाजारों में सोशल डिस्टेंसिंग की वजह से लगे प्रतिबंधों, अर्थव्यवस्था में सुस्ती तथा कई मुद्राओं में सोने के दाम रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंचने की वजह से सोने के आभूषणों की मांग प्रभावित हुई है। जुलाई-सितंबर तिमाही में सोने के आभूषणों की मांग 29 प्रतिशत घटकर 333 टन रही, जो एक साल पहले इसी अवधि में 468.1 टन थी। काउंसिल में मार्केट इंटिलेजेंस लुइस स्ट्रीट ने कहा, ‘‘दुनियाभर के सोने के बाजारों में कोविड-19 का प्रभाव अभी समाप्त नहीं हुआ है। कई बाजारों में प्रतिबंधों, अर्थव्यवस्थाओं में सुस्ती तथा सोने की कीमतों के ऊंचाई पर पहुंचने की वजह से सोने के आभूषणों की खरीद प्रभावित हुई है। निकट भविष्य में भी यह रुख जारी रहने की संभावना है।’’
Latest Business News