कोलकाता। पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने सोमवार को कहा कि पांच हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था के सरकार के लक्ष्य में एक तिहाई हिस्सेदारी निर्यात की होनी चाहिए। मुखर्जी ने कहा कि अमेरिका और चीन के बीच जारी व्यापार युद्ध से भारतीय निर्यातकों के पास निर्यात बढ़ाने के अवसर हैं।
फेडरेशन ऑफ इंडियन एक्सपोर्ट ऑर्गनाइजेशन के एक कार्यक्रम में पूर्व राष्ट्रपति प्रणब मुखर्जी ने कहा कि एक्सपोर्ट को हमारी अर्थव्यवस्था के सबसे महत्वपूर्ण सेगमेंट के तौर पर गठित करना चाहिए। एक्सपोर्ट को अर्थव्यवस्था के कुल मूल्य का कम से कम 1/3 हिस्सा होना चाहिए (पांच हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था में) जो इंटरनैशनल ट्रेड सेक्टर से आना चाहिए।
मुखर्जी ने कहा, '(पांच हजार अरब डॉलर की अर्थव्यवस्था में) एक तिहाई अंतरराष्ट्रीय व्यापार से आना चाहिए... दो प्रमुख देशों (अमेरिका और चीन) के बीच युद्ध से भारतीय निर्यातकों के लिए आशा की किरण जगी है। लेकिन ऐसा बहुत छोटी अवधि के लिए होगा।' हालांकि, मुखर्जी ने कहा कि भारतीय अर्थव्यवस्था की अंतर्निहित ताकत से भारतीय निर्यात में बढ़ोत्तरी होनी चाहिए ना कि बाह्य परिस्थितियों से।
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