हैदराबाद। केंद्र सरकार अनुबंध पर काम करने वाले श्रमिकों के लिए 10,000 रुपए प्रति माह के न्यूनतम मजदूरी सुनिश्चित करने के लिए एक सरकारी आदेश जारी करेगी। यह बात श्रम एवं रोजगार मंत्री बंडारू दत्तात्रेय ने कही।
दत्तात्रेय ने यहां संवाददाताओं से कहा, यह केंद्र सरकार की श्रम कानून में सुधार और न्यूनतम वेतन से सामान्य न्यूनतम वेतन व्यवस्था की ओर अग्रसर होने की कोशिश है। विपक्ष संसद में सहयोग नहीं कर रहा है इसलिए हम यह काम सरकारी आदेश के जरिए करेंगे।
उन्होंने कहा, संसद में कामकाज उचित तरीके से नहीं चल रहा है इसलिए हम इंतजार नहीं करना चाहते और हम चाहते हैं कि कर्मचारियों के कल्याण के लिए सरकारी आदेश के साथ आगे बढ़ें। उन्होंने कहा कि सरकार ने अनुबंध श्रम (नियमन एवं उन्मूलन) केंद्रीय कानून के नियम 25 में बदलाव करने का फैसला किया है और अनुबंध पर काम करने वाले हर श्रमिक को न्यूनतम 10,000 प्रतिमाह का वेतन मिलेगा। उन्होंने कहा, हमने यह नियम बनाया है और उसे कानून मंत्रालय को भेजा है और जल्दी ही एक अधिसूचना आएगी जिसके बाद हर राज्य सरकार इस फैसले का अनुपालन करेगी।
दत्तात्रेय ने कहा कि उच्चतम न्यायालय ने उपभोक्ता मूल्य सूचकांक और मंहगाई भत्ते में बदलाव को देखते हुए न्यूनतम वेतन बढ़ाने के संबंध में एक निर्देश दिया है। उन्होंने कहा, उच्चतम न्यायालय के आदेश को ध्यान में रखते हुए हम पहले इसे बढ़ाकर 10,000 रुपए कर रहे हैं और इसके बाद हम एक सामान्य न्यूनतम वेतन व्यवस्था की ओर बढ़ना चाहते हैं। उन्होंने कहा कि सभी कॉन्ट्रैक्टरों के लिए श्रम मंत्रालय के साथ पंजीकरण कराना आवश्यक है और तेलंगाना और आंध्र प्रदेश में एक लाख सफाई कर्मचारियों (जिन्हें 8,500 रुपए प्रति माह मिल रहे हैं) को फायदा होगा। साथ ही इस न्यूनतम वेतन नियम से अन्य जगहों के करोड़ों कर्मचरियों को लाभ होगा।
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