‘King of Bad Times: ED ने माल्या के खिलाफ किया मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज, कोर्ट ने पैसे निकालने पर लगाई रोक
गिरफ्तारी की मांग के बाद सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने विजय माल्या के खिलाफ सीबीआई की शिकायत पर मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया है।
नई दिल्ली। लिकर किंग विजय माल्या की मुश्किलें बढ़ती जा रही हैं। सोमवार को प्रवर्तन निदेशालय (ED) ने माल्या के खिलाफ सीबीआई की शिकायत पर मनी लॉन्ड्रिंग का केस दर्ज किया है। वहीं दूसरी ओर ऋण वसूली न्यायाधिकरण (डीआरटी) ने कहा कि बैंक कर्ज से जुड़े मामले का निपटान होने तक विजय माल्या डियाजिओ से प्राप्त 7.50 करोड़ डॉलर (515 करोड़ रुपए) की राशि नहीं निकाल सकते हैं। यह फैसला एसबीआई की उस याचिका पर आया है, जिसमें उसने डियाजिओ कंपनी से मिलने वाले धन को उधार देने वाले बैंकों को देने की अपील की थी। अगली सुनवाई 28 मार्च को होगी।
प्रवर्तन निदेशालय ने माल्या और अन्य के खिलाफ मनी लांड्रिंग का मामला दर्ज किया है। यह मामला आईडीबीआई बैंक से लिए गए 900 करोड़ रुपए से अधिक का कर्ज कथित तौर पर नहीं चुकाने के मामले से जुड़ा है। आधिकारिक सूत्रों ने कहा है कि ईडी ने हाल में ही मनी लांड्रिंग रोधी कानून (पीएमएलए) के तहत आरोप तय किए हैं। यह आरोप सीबीआई द्वारा पिछले साल दर्ज प्राथमिकी के आधार पर तय किए गए हैं। उन्होंने कहा कि यहां ईडी के क्षेत्रीय कार्यालय ने यह मामजा दर्ज किया है। एजेंसी इस समय बंद पड़ी किंगफिशर एयरलाइंस के समूचे वित्तीय ढांचे पर भी गौर कर रही है। इसके साथ ही विदेशी मुद्रा विनिमय मामले में उल्लंघन की भी अलग से जांच शुरू की जा सकती है। सूत्रों ने कहा, इस मामले में माल्या और अन्य से जल्द ही पूछताछ की जा सकती है। एजेंसी ने संबंधित प्राधिकरणों और मामले में सामने आए बैंक के बारे में संबंधित दस्तावेज जुटा लिए हैं। सीबीआई ने माल्या, किंगफिशर एयरलाइंस के निदेशक, कंपनी, एयरलाइंस के मुख्य वित्तीय अधिकारी ए. रघुनाथन, और आईडीबीआई बैंक के अज्ञात अधिकारियों के खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है। इसमें आरोप है कि बैंक से कर्ज की मंजूरी ऋण सीमा नियमों का उल्लंघन कर दी गई।
गिरफ्तारी और पासपोर्ट जब्त करने की मांग
एसबीआई ने डीआरटी ने 4 मार्च को इस मामले में दोनों पक्षों की याचिकाएं सुनने के बाद फैसला सुरक्षित रख लिया था। सोमवार को इसने अपना फैसला सुनाया। एसबीआई ने बैंकों का कर्ज नहीं चुकाने के मामले में माल्या की गिरफ्तारी और पासपोर्ट जब्त करने की भी मांग की है। इसके तहत एसबीआई ने तीन याचिकाएं भी दाखिल की हैं। डीआरटी ने याचिकाओं पर उनकी वरीयता के क्रम में सुनवाई करने का फैसला किया है। इन अन्य तीन याचिकाओं पर 28 मार्च को सुनवाई होगी। कोर्ट द्वारा एसबीआई की पहली मांग मानने से यह लग रहा है कि अन्य मांगों पर भी कोर्ट एसबीआई के पक्ष में फैसला सुना सकती है, जिससे माल्या के गिरफ्तार होने की संभावना बढ़ गई है। गौरतलब है कि डियाजिओ ग्रुप ने विजय माल्या को यूबी ग्रुप प्रमोटर पद से बाहर होने के लिए 515 करोड़ रुपए देने की डील की थी। माल्या ने यूनाइटेड ब्रेवरीज को डियाजिओ ग्रुप को बेच दिया था।
किंगफिशर पर लगभग 7500 करोड़ रुपए का कर्ज
भारतीय स्टेट बैंक की अगुवाई वाले कंसोर्शियम का किंगफिशर एयरलाइंस पर लगभग 7500 करोड़ रुपए का कर्ज है। इसके अलावा किंगफिशर को यूनाइटेड बैंक का लगभग 350 करोड़ रुपए का कर्ज भी चुकाना है। एसबीआई समेत 17 अन्य बैंक माल्या से किंगफिशर एयरलाइन को दिए गए कर्ज की रिकवरी की मांग कर रहे हैं।