नई दिल्ली। रियल एस्टेट कंपनियों के संगठन क्रेडाई ने पिछले दो साल में स्टील की तेजी से बढ़ी कीमतों को लेकर चिंता व्यक्त करते हुए प्रधानमंत्री कार्यालय को पत्र लिखकर मामले में दखल देने का अनुरोध किया है।
उन्होंने कहा है कि स्टील के दाम बढ़ने से निर्माण का खर्च काफी बढ़ गया है, इसलिए सरकार को इसके दाम पर अंकुश रखने का उपाय करना चाहिए। कंफेडरेशन ऑफ रियल एस्टेट डेवलपर्स एसोसिएशन ऑफ इंडिया (क्रेडाई) ने प्रधानमंत्री कार्यालय को आज लिखे पत्र में अनुरोध किया कि सरकार इस मामले में दखल दे।
क्रेडाई के यहां जारी बयान में कहा गया है कि स्टील की कीमतें 2016 में 29-32 हजार रुपए प्रति टन थी, जो इस समय 51 से 54 हजार रुपए प्रति टन पर पहुंच गई हैं। क्रेडाई के अध्यक्ष जक्षय शाह ने कहा कि सभी हितधारकों को विशेषकर बढ़े खर्च का वहन करने वाले उपभोक्ताओं को ध्यान में रखते हुए यह जरूरी है कि सरकार स्टील के दाम का नियमन करने के लिए दखल दे।
उन्होंने कहा कि स्टील की कीमतें लगातार बढ़ने से आवास की कीमतों पर असर पड़ रहा है और इसका सभी के लिए आवास योजना के लक्ष्य पर भी बुरा असर होगा। क्रेडाई ने कहा कि कीमतों में भारी तेजी रियल एस्टेट सेक्टर में निवेश तथा इसकी वृद्धि की राह में रुकावट है।
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