नई दिल्ली। देश में खुदरा मुद्रास्फीति दर फरवरी के दौरान बढ़कर 3.65 प्रतिशत पर पहुंच गई। ऐसा खाद्य और ईंधन की कीमतों में तेज वृद्धि की वजह से हुआ है। उपभोक्ता मूल्य सूचकांक (CPI) आधारित मुद्रास्फीति जनवरी में 3.17 प्रतिशत थी। पिछले साल फरवरी में यह 5.26 प्रतिशत थी।
- हालांकि, मंगलवार को जारी आधिकारिक आंकड़ों के मुताबिक उपभोक्ता खाद्य कीमत मुद्रास्फीति बढ़कर 2.01 प्रतिशत रही।
- जनवरी 2016 में यह 0.61 प्रतिशत थी।
- इसी प्रकार ईंधन और बिजली की खुदरा मुद्रास्फीति इस साल फरवरी में बढ़कर 3.9 प्रतिशत पर पहुंच गई।
थोक मूल्य सूचकांक 39 माह के उच्चतम स्तर पर
फरवरी में थोक महंगाई दर (WPI) 6.55 फीसदी पहुंच गई, जो कि लगभग 39 महीनें का उच्चतम स्तर है। जनवरी में महंगाई दर 5.25 फीसदी रही थी। खाने-पीने की चीजों से लेकर फ्यूल और पावर सभी की महंगाई दर बढ़ी है।
- फरवरी में खाने-पीने की चीजों की महंगाई दर -56 फीसदी से बढ़कर 2.69 फीसदी हो गई है।
- फूड आर्टिकल्स का WPI इंडेक्स में वेटेज 14.34 फीसदी है।
- फलों की थोक महंगाई दर 7.14 फीसदी रही।
- मोटे अनाज, चावल, फ्रूट्स, मछली, अंडा और मीट की कीमतें बढ़ी हैं।
- सब्जियों और प्याज की थोक कीमतें बढ़ी हैं लेकिन यह अभी भी यह शून्य से नीचे हैं।
- सब्जियों की महंगाई फरवरी में शून्य से नीचे 8.05 फीसदी पर रही। जनवरी में यह -32.32 फीसदी पर थी।
- फ्यूल और पावर की महांगाई दर 18.14 फीसदी से बढ़कर 21.02 फीसदी रही है।
- फरवरी में प्राइमरी आर्टिकल्स की महंगाई दर भी बढ़ी है।
- प्राइमरी आर्टिकल्स की महंगाई दर 1.27 फीसदी से बढ़कर 5 फीसदी रही है।
- मैन्यूफैक्चर्ड प्रोडक्ट्स की महंगाई दर घटी है।
- मैन्यूफैक्चर्ड प्रोडक्ट्स की महंगाई दर 3.99 फीसदी से घटकर 3.66 फीसदी हो गई है।
- फरवरी में कोर महंगाई की दर 2.7 फीसदी से गिरकर 2.4 फीसदी हो गई है।
- दिसंबर की थोक महंगाई दर 3.68 फीसदी से संशोधित होकर 3.39 फीसदी हो गई है।
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