नई दिल्ली। अमेरिका द्वारा शुरू किए गए व्यापर युद्ध का जवाब देने के लिए आज चीन ने अपनी एक नई योजना का खुलासा किया है। चीन ने आज 3 अरब डॉलर से अधिक के अमेरिकी उत्पादों पर उच्च शुल्क लगाने की घोषणा की है। इनमें पोर्क और पाइप जैसे सामान भी शामिल हैं। अधिकारियों ने बताया कि अमेरिका द्वारा चीन से स्टील और एल्यूमिनियम के आयात पर लगाए गए उच्च कर के जवाब में चीन ने कदम उठाया है।
चीन के वाणिज्य मंत्रालय ने एक बयान में कहा है कि पोर्क, शराब और सीमलेस स्टील ट्यूब सहित 128 अमेरिकी उत्पादों के लिए शुल्क रियायतों को खत्म किया गया है। मंत्रालय के अनुसार अमेरिका से आने वाले फलों, मेवों, शराब और सीमलेस स्टील ट्यूब समेत कई उत्पादों पर 15 प्रतिशत आयात शुल्क लगाया जाएगा। पोर्क और रिसाइकल एल्यूमिनियम उत्पादों पर शुल्क की दर 25 प्रतिशत होगी। यह फैसला दो चरणों में लागू किया जाएगा।
पहले चरण में यदि दोनों देश निर्धारित समय के भीतर व्यापार मुद्दों पर किसी सहमति पर नहीं पहुंचते हैं तो 15 प्रतिशत का शुल्क लगाया जाएगा। दूसरे चरण में, अमेरिकी नीतियों के प्रभाव का आकलन करने के बाद 25 प्रतिशत का आयात शुल्क लगाया जाएगा।
अमेरिका द्वारा चीन से स्टील आयात पर 25 प्रतिशत शुल्क और एल्यूमिनियम पर 10 प्रतिशत आयात शुल्क लगाने के जवाब में चीन ने आज यह कदम उठाया है। हालांकि अमेरिका ने इस शुल्क से कनाडा और मेक्सिको को छूट प्रदान की है। कल चीन ने कहा था कि वह अपने अधिकारों और हितों की रक्षा के लिए सभी जरूरी कदम उठाएगा।
अगस्त 2017 में अमेरिका ने 1974 के व्यापार अधिनियम की धारा 301 के तहत चीनी इंटलेक्चुअल प्रॉपर्टी और टेक्नोलॉजी ट्रांसफर की जांच शुरू की थी। सात महीने बाद आज अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने चीन पर इंटलेक्चुअल प्रॉपर्टी चोरी का आरोप लगाते हुए आयात पर 60 अरब डॉलर का शुल्क लगाने की घोषणा के अलावा चीन पर नए निवेश प्रतिबंध लगाने की भी योजना बनाई है।
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