नई दिल्ली। भारतीय प्रतिस्पर्धा आयोग (सीसीआई) ने एवरेडी, इंडो नेशनल, उद्योग समूह एआईडीसीएम और अन्य अधिकारियों पर जिंक कार्बन ड्राई सेल बैटरी के दाम तय करने में सांठगाठ के लिए 215 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया है।
उदारता के प्रावधान का इस्तेमाल करते हुए प्रतिस्पर्धा आयोग ने एवरेडी, इंडो नेशनल के साथ उनके अधिकारियों पर जुर्माना घटा दिया है। पैनासोनिक एनर्जी इंडिया के मामले में जुर्माना पूरी तरह माफ कर दिया गया है। हालांकि, यह भी प्रतिस्पर्धा रोधी व्यवहार में शामिल थी। अपने 39 पृष्ठ के आदेश में प्रतिस्पर्धा आयोग ने एवरेडी ओर इंडो नेशनल, जिसके पास निप्पो ब्रांड का स्वामित्व है, तथा एसोसिएशन ऑफ ड्राई सेल मैन्यूफैक्चरर्स (एआईडीसीएम) पर करीब 215 करोड़ रुपए का जुर्माना लगाया है।
एक आधिकारिक बयान में कहा गया है कि सीसीआई ने जो प्रमाण जुटाए हैं उनके मुताबिक तीनों बैटरी विनिर्माता तथा एआईडीसीएम मूल्य तय करने को लेकर सांठगाठ में शामिल थे। एवरेडी तथा इंडो नेशनल पर लगाए गए जुर्माने को उदारता के प्रावधान का इस्तेमाल करते हुए जुर्माने में 30 और 20 प्रतिशत की कटौती की गई है।
एवरेडी इंडस्ट्रीज इंडिया पर 171.55 करोड़ रुपए तथा उसके अधिकारियों पर 53.41 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है। इंडो नेशनल के मामले में 42.26 करोड़ रुपए तथा उसके अधिकारियों पर 29.57 लाख रुपए का जुर्माना लगाया गया है। नियामक ने एआईडीसीएम पर 1.85 लाख रुपए तथा उसके अधिकारियों पर 16.09 लाख रुपए का जुर्माना लगाया है। प्रतिस्पर्धा आयोग ने इस मामले में स्वत: संज्ञान लिया था।
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