नई दिल्ली। व्यापारियों के अखिल भारतीय संगठन कैट ने ई-कॉमर्स पोर्टल पर FDI नीति का खुलेआम उल्लंघन का आरोप लगाते हुए उनके खिलाफ अदालत जाने की चेतावनी दी है। कैट का कहना है कि ई-कॉमर्स पोर्टल सरकार की FDI नीति का खुलेआम उल्लंघन कर रही हैं ऐसे में अगर सरकार इनके खिलाफ कार्वाई नहीं करती है तो वह अदालत का दरवाजा खटखटायेंगे। कैट के यहां जारी बयान में संगठन ने ई-कॉमर्स कंपनियों के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं करने को लेकर सरकार के रवैये पर अंसतोष जताया है।
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अखिल भारतीय व्यापारी परिसंघ ने वाणिज्य मंत्रालय के औद्योगिक संवर्धन और योजना (DIPP) विभाग के सचिव रमेश अभिषेक को भेजे संदेश में कहा है कि सरकार की ओर से अगर कोई कार्रवाई नहीं की गई तो कैट न्याय पाने के लिए अदालत जा सकता है। कैट ने 23 सितंबर को केंद्रीय वाणिज्य मंत्री सुरेश प्रभु को भेजे पत्र में ई-कॉमर्स कंपनियों द्वारा FDI नीति का उल्लंघन करने की शिकायत की थी, जिसके बाद इसे DIPP विभाग के सचिव के पास भेजा गया।
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कैट के राष्ट्रीय अध्यक्ष बी सी भरतिया और महामंत्री प्रवीन खंडेलवाल ने कहा कि सरकार के कोई कदम नहीं उठाए जाने की वजह से इन कंपनियों में हौसले बुलंद हुए हैं और एक बार फिर दिवाली के मौके पर ई-कॉमर्स पोर्टल के त्योहारी बिक्री के बड़े बड़े विज्ञापन दिखाई दे रहे हैं, जो दर्शाते हैं कि पोर्टल नागरिकों को माल खरीदने के लिये प्रेरित कर रहे हैं जबकि नीति के मुताबिक इनका ऐसा करना वर्जित है। हालांकि, कारोबारी संघ ने किसी ई-कॉमर्स पोर्टल का जिक्र नहीं किया है।
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