नई दिल्ली। सस्ती दर पर विमानन सेवा देने वाली एयर एशिया इंडिया ने मार्च 2016 को समाप्त तिमाही में 5.4 लाख यात्रियों को सेवा दी, जबकि उसकी सीट क्षमता अनुपात (लोड फैक्टर) 86 फीसदी पर पहुंच गया। एयरलाइन का सीट क्षमता अनुपात एक वर्ष पूर्व इसी अवधि में 79 फीसदी था।
मलेशिया की एयर एशिया बेरहाद ने कहा, एयर एशिया का सीट क्षमता अनुपात 2016 की पहली तिमाही में 86 फीसदी था। कुल 5.4 लाख यात्रियों को सेवा दी गई, जो सालाना आधार पर 127 फीसदी अधिक है। कंपनी ने इस वर्ष की पहली तिमाही के परिचालन संबंधी आंकड़े जारी किए हैं। मलेशियाई एयरलाइन की एयर एशिया इंडिया में 49 फीसदी हिस्सेदारी है। वर्ष 2015 की पहली तिमाही में विमानन कंपनी ने 2.4 लाख यात्रियों को सेवा दी थी।
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डीजीसीए ने विमानन कंपनियों के टिकट मूल्य पर ब्योरा मांगा
नागर विमानन महानिदेशालय (डीजीसीए) ने विमान किरायों में भारी उतार-चढ़ाव पर चिंता जताते हुए एयरलाइंस कंपनियों से उनके टिकट का मूल्य तय करने के तरीके के बारे में जानकारी मांगी है। विशेषरूप से ऊंचे किराए के बारे में ब्योरा मांगा गया है। सांसदों सहित विभिन्न हलकों से एयरलाइंस द्वारा आपात स्थिति या व्यस्त सीजन के दौरान किराए में भारी बढ़ोतरी को लेकर चिंता जताई थी।
डीजीसीए के एक अधिकारी ने कहा कि नियामक ने एयरलाइंस से टिकट मूल्य की जानकारी मांगी है। विशेष रूप से ऊंचे मूल्य वाली टिकटों के मामले में। मनमाना किराया वसूलने वाली एयरलाइंस पर अंकुश लगाने के इरादे से डीजीसीए ने 20 चिन्हित मार्गों पर उपलब्ध सीटों की संख्या और संबंधित किराए के बारे में जानकारी मांगी है। जिन मार्गों के लिए किराए का ब्योरा मांगा गया है उनमें जम्मू-कश्मीर, लेह और पोर्ट ब्लेयर को जोड़ने वाली उड़ानें शामिल हैं। नागर विमानन मंत्री अशोक गजपति राजू ने लोकसभा को बताया था कि मंत्रालय एयरलाइंस से विचार विमर्श करेगा, जिससे किसी आपात स्थिति में किराया बढ़ोतरी पर अंकुश लगाया जा सके।
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