नई दिल्ली। कार्मिक राज्य मंत्री जितेंद्र सिंह ने मंगलवार को यह स्पष्ट कर दिया कि केंद्र सरकार के कर्मचारियों को अपनी पेंशन लेने के लिए आधार कार्ड की अनिवार्यता नहीं है। उन्होंने कहा कि स्टैंडिंग कमेटी ऑफ वोलैंट्री एजेंसीस की 30वीं बैठक में उन्होंने कहा कि बैंकों में जाए बगैर लाइफ सर्टिफिकेट जमा करने के लिए टेक्नोलॉजी सक्षम एक अतिरिक्त सुविधा है। केंद्रीय मंत्री ने सफाई दी कि सरकारी कर्मचारियों के लिए पेंशन लेने के लिए आधार को अनिवार्य नहीं किया गया है।
उनका यह बयान इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि हालही में बैंक अकाउंट से आधार लिंक न होने के कारण कुछ रिटायर्ड कर्मचारियों को पेंशन लेने में मुश्किलों का सामना करने की खबरें सामने आई थीं। मंत्री ने यह स्पष्ट किया कि सरकारी कर्मचारियों के लिए पेंशन लेने के लिए आधार को अनिवार्य नहीं किया गया है।
आधार 12 अंकों का एक नंबर है, जिसे यूनिक आइडेंटिफिकेशन अथॉरिटी ऑफ इंडिया (यूआईडीएआई) द्वारा जारी किया जाता है, यह पहचान और पते के प्रमाण के रूप में उपयोग होता है।
देश में इस समय 48.41 लाख केंद्रीय कर्मचारी और 61.17 लाख पेंशनर्स हैं। सिंह ने कहा कि सरकार ने अपने कर्मचारियों और पेंशनर्स की भलाई के लिए कई कदम उठाए हैं। उदाहरण के लिए, मिनिमम पेंशन बढ़ाकर 9,000 रुपए की गई है, ग्रेच्युटी की सीलिंग को बढ़ाकर 20 लाख कर दिया गया है, फिक्स्ड मेडिकल अलाउंस को बढ़ाकर प्रति माह 1,000 रुपए किया गया है।
उन्होंने कहा कि कॉन्स्टैंट अटेंडैंस अलाउंस को 4,500 रुपए से बढ़ाकर 6,750 रुपए कर दिया गया है, जो 1 जुलाई, 2017 से लागू हो गया है। फाइनेंस बिल, 2018 में अर्जित इंटरेस्ट पर स्टैंडडर्ड डिडक्शन, टैक्स रिबेट आदि इनकम टैक्स से संबंधित कुछ बेनेफिट्स भी दिए गए हैं।
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