नई दिल्ली। अमेरिका में नौकरी कर रहे 70 हजार भारतीयों के लिए बुरी खबर है। ट्रंप प्रशासन ने अमेरिका की एक अदालत को बताया कि एच -4 वीजाधारकों की कुछ श्रेणियों को काम करने की मंजूरी (वर्क परमिट) रद्द करने की प्रक्रिया अंतिम चरण में है। एच -1 बी वीजा धारकों के पति या पत्नी को काम करने के लिए एच -4 वीजा जारी किया जाता है। एच -4 वीजाधारकों में भारतीय पेशेवरों की संख्या काफी अधिक है।
पूर्व राष्ट्रपति बराक ओबामा ने अपने कार्यकाल के दौरान एच -1 बी वीजाधारक के जीवनसाथी को कानूनी तौर पर काम करने की अनुमति दी थी , लेकिन ट्रंप प्रशासन इस नियम को समाप्त करने की तैयारी में है। इस कदम से 70,000 से अधिक एच -4 वीजाधारक प्रभावित होंगे , जिनके पास काम करने की अनुमति है। अमेरिका के आंतरिक सुरक्षा विभाग (डीएचएस) ने संघीय अदालत को बताया कि प्रस्तावित नियम मंजूरी के अंतिम चरण में है।
ट्रंप प्रशासन ने कल अदालत से कहा कि एक बार प्रस्ताव पर डीएचएस के माध्यम से मंजूरी मिल जाए तो इसे नियामकीय एवं नियोजन समीक्षा के कार्यकारी आदेश के तहत समीक्षा के लिए प्रबंधन एवं बजट कार्यालय को भेजा जाएगा। कार्य परमिट रद्द करने की अंतिम अधिसूचना जून में जारी होने की उम्मीद है। ओबामा प्रशासन ने 2015 में एक कार्यकारी आदेश के तहत एच -4 वीजाधारकों को वीजा की कुछ श्रेणियों के तहत वहां काम करने की मंजूरी दी थी , जिसमें अधिकतर एच -1 बी वीजाधारकों के जीवनसाथी शामिल हैं।
हालिया रिपोर्ट के मुताबिक अमेरिकी में एच -4 वीजा पर काम करने की इजाजत पाने वालों में 93 प्रतिशत संख्या भारतीयों की है। पिछले सप्ताह , भारतीय मूल की अमेरिकी सांसद प्रमिला जयपाल के नेतृत्व में रिपब्लिकन एवं डेमोक्रेटिक पार्टी के 130 सांसदों ने ट्रंप प्रशासन से अनुरोध किया। इन लोगों ने ट्रंप प्रशासन से अपील कि है वह एच -1 बी वीजीधारक अप्रवासी कर्मचारियों के जीवनसाथी के लिए कार्य परमिट (कार्य करने की अनुमति) देना जारी रखें। ऐसा उन मामलों में करने के लिए कहा गया है जिनमें अप्रवासी कर्मचारियों पर उनके जीवनसाथी निर्भर हैं।
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