नई दिल्ली। वर्ष 2021 तक 53.6 करोड़ लोगों के ऑनलाइन रहने के दौरान अपनी क्षेत्रीय भाषाओं का इस्तेमाल करने की संभावना है। उसका श्रेय मोबाइल फोनों एवं डाटा पैक के घटते दाम तथा और स्थानीय सामग्री की उपलब्धता को जाएगा। यह बात Google-KPMG की रिपोर्ट में सामने आई है। इस रिपोर्ट के अनुसार, हिंदी इंटरनेट उपयोगकर्ताओं की संख्या 2021 तक अंग्रेजी उपयोगकर्ताओं से बहुत आगे निकल जाएगी और 19.9 करोड़ तक पहुंच जाएगी। यह भी पढ़ें :सहारा ने संपत्ति की बिक्री के लिए बोली समयसीमा बढ़ाकर की 20 मई, खरीददारों में टाटा, गोदरेज और अडाणी शामिल
उम्मीद की जा रही है कि उस समय तक भारत में 73.5 करोड़ इंटरनेट उपयोगकर्ता हो जाएंगे। उनकी संख्या 2016 में 40.9 करोड़ थी। रोचक बात यह है कि भारतीय भाषाओं में इंटरनेट का उपयोग करने वालों में बड़ी संख्या में लोग पहले से ही सरकारी सेवाओं, क्लासीफाइड और खबरों का लाभ उठा रहे हैं तथा भुगतान भी वे ऑनलाइन ही करते हैं। ऐस लोग न केवल चैट एप्प और डिजिटल मनोरंजन का लाभ उठा रहे हैं बल्कि वे डिजिटल भुगतान तरीके भी अपना रहे हैं।
वर्ष 2016 में भारतीय भाषाओं में इंटरनेट का उपयोग करने वालों की संख्या 23.4 करोड़ थी जबकि अंग्रेजी में इसका उपयोग करने वालों की संख्या 17.7 करोड़ थी। हिंदी के अलावा मराठी, बंगाली, तमिल, कन्नड़ और तेलुगु उपयोगकर्ताओं की संख्या तेजी बढ़ने की संभावना है। यह भी पढ़ें : देश में फोन यूजर्स की संख्या बढ़कर 1.18 अरब हुई, फरवरी में जारी हुए 1.37 करोड़ नए मोबाइल कनेक्शन
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