आर्थिक सर्वे 2018: मोदी सरकार पास या फेल, ये हैं इकोनॉमिक सर्वे की 10 प्रमुख बातें
वित्तमंत्री अरुण जेटली ने 2017-18 का आर्थिक सर्वेक्षण पेश कर दिया है। जीएसटी लागू होने के बाद पेश हुए पहले सर्वेक्षण में अप्रत्यक्ष करों की वसूली में 50 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है।
नई दिल्ली। मोदी सरकार ने बजट सत्र के पहले दिन 2017-18 का आर्थिक सर्वेक्षण पेश कर दिया है। जीएसटी लागू होने के बाद पेश हुए पहले सर्वेक्षण में अप्रत्यक्ष करों की वसूली में 50 फीसदी की वृद्धि दर्ज की गई है। आर्थिक सर्वेक्षण में क्रूड ऑयल की कीमतों पर चिंता व्यक्त की गई है। सर्वे के मुताबिक, क्रूड की कीमतें 12 फीसदी बढ़ने की संभावना है। वित्त वर्ष 2017-18 के दौरान देश की GDP 6.75 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया है। आर्थिक सर्वेक्षण में 2018-19 के दौरान GDP ग्रोथ 7-7.75 प्रतिशत रहने का अनुमान लगाया गया है। आपको बता दें कि इस बार आर्थिक सर्वेक्षण निर्धारित तारीख से 2 दिन पहले पेश किया गया है।
क्या होता है आर्थिक सर्वेक्षण
आर्थिक सर्वेक्षण बजट परंपरा का अहम हिस्सा है। हर साल यह वित्तीय रिपोर्ट और सरकार के काम काज का लेखाजोखा वित्त मंत्रालय की ओर से संसद में पेश किया जाता है। जिसे इकोनॉमिक सर्वे भी कहा जाता है। आर्थिक सर्वेक्षण रिपोर्ट में महंगाई, देश की विकास दर, कृषि, उद्योग धंधों, आधारभूत संरचना के विकास की प्रवृत्ति आदि के संबंध में जानकारी दी जाती है।
ये हैं आर्थिक सर्वेक्षण 2017-18 की खास बातें
- 2017-18 में GDP ग्रोथ 6.75 प्रतिशत रहने का अनुमान व्यक्त किया गया है। 2018-19 के दौरान इसके 7-7.75 प्रतिशत रहने का अनुमान है।
- 2017-18 के दौरान चालू खाते का घाटा घटकर 3.2 प्रतिशत रहने का अनुमान
- जो कि मोदी सरकार के कार्यकाल में सबसे कम है।
- 2017-18 के दौरान उपभोक्ता महंगाई दर 3.33 और थोक महंगाई दर 2.9 प्रतिशत अनुमानित। थोक महंगाई दर 4 साल में सबसे ज्यादा रहने का अनुमान है।
- 2017-18 के दौरान अप्रत्यक्ष टैक्स कलेक्शन में 50 प्रतिशत की बढ़ोतरी।
- दिसंबर तक निर्यात में 12.1 प्रतिशत की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। महाराष्ट्र, गुजरात, कर्नाटक, तमिलनाडू और तेलंगाना की एक्सपोर्ट में 70 प्रतिशत हिस्सेदारी है।
- 2017-18 में दिसंबर तक विदेशी मुद्रा भंडार 409.4 अरब डॉलर, रिकॉर्ड स्तर पर पहुंचा।
- इंडस्ट्रियल प्रोडक्शन पिछले साल के मुकाबले घटी, 2017-18 में अप्रैल से नवंबर तक 3.2% ग्रोथ, पिछले साल 4.6 प्रतिशत ग्रोथ थी। खाद्यान्न उत्पादन 27.57 करोड़ टन हुआ, 2016-17 के दौरान 25.16 करोड़ टन उत्पादन
- नोटबंदी और GST के बाद इनकम टैक्स रिटर्न दाखिल करने वालों की संख्या में 18 लाख की बढ़ोतरी। वर्ल्ड बैंक के ईज ऑफ डूइंग बिजनेस रैंकिंग में भारत ने लगई 30 स्थानों की छलांग, पहली बार टॉप 100 देशों में हुआ शामिल।
- क्रूड ऑयल की कीमतों पर चिंता व्यक्त की गई है। सर्वे के मुताबिक, क्रूड की कीमतें 12 फीसदी बढ़ने की संभावना है।
- कृषि विकास दर 2.1 फीसदी रहने का अनुमान प्रकट किया है। सरकार ने निर्माण क्षेत्र में विकास दर 8 प्रतिशत रहने का अनुमान जाहिर किया है।