सरकार ने मंगलवार 1 अक्टूबर को 10,900 करोड़ रुपये वाली पीएम ई-ड्राइव योजना शुरू कर दी। इस योजना का उद्देश्य भारत में इलेक्ट्रिक गाड़ियों को प्रोमोट करने, चार्जिंग इंफ्रा की स्थापना और ईवी मैन्यूफैक्चरिंग इकोसिस्टम के विकास को प्रोत्साहित करना है। ये योजना 31 मार्च, 2026 तक लागू रहेगी। इसके साथ ही 1 अप्रैल, 2024 से 30 सितंबर, 2024 तक के लिए लागू की गई EMPS-2024 (इलेक्ट्रिक गतिशीलता संवर्धन योजना) को पीएम ई-ड्राइव योजना में शामिल कर लिया जाएगा।
कैसे दी जाएगी सब्सिडी
पीएम ई-ड्राइव योजना के तहत इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स के लिए सब्सिडी बैटरी पावर के आधार पर 5,000 रुपये प्रति किलोवाट घंटा तय की गई है। योजना के दूसरे साल में इसे आधा करके 2,500 रुपये प्रति किलोवाट घंटा कर दिया जाएगा और कुल बेनिफिट्स 5,000 रुपये से ज्यादा नहीं होगा। इस समय ओला, टीवीएस, एथर एनर्जी, हीरो विडा (हीरो मोटोकॉर्प) और बजाज चेतक जैसी कंपनियों की बैटरी क्षमता 2.88 से 4 किलोवाट घंटे तक है। इनकी कीमत 90,000 रुपये से शुरू होकर 1.5 लाख रुपये के बीच है।
प्रोसेस को आसान बनाने के लिए लॉन्च होगा ऐप
इस योजना की पेशकश करते हुए भारी उद्योग मंत्रालय में एडिशनल सेक्रेट्री हनीफ कुरैशी ने कहा कि पूरे प्रोसेस को आसान बनाने के लिए एक मोबाइल ऐप लॉन्च किया जाएगा, जिसके जरिए योजना के तहत सब्सिडी प्राप्त करने के लिए ई-वाउचर बनाया जा सकेगा। उन्होंने कहा कि एक आधार के लिए एक गाड़ी की अनुमति होगी। जैसे ही गाड़ी की बिक्री होगी, ई-वाउचर तैयार हो जाएगा। उन्होंने आगे बताया कि पीएम ई-ड्राइव योजना के तहत परीक्षण सुविधाओं को बेहतर बनाने के लिए 780 करोड़ रुपये तय किए गए हैं।
24.79 लाख इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स को मिलेगी सब्सिडी
पीएम ई-ड्राइव योजना के तहत E-2W, E-3W, ई-एम्बुलेंस, ई-ट्रक और अन्य ईवी को प्रोत्साहित करने के लिए 3,679 करोड़ रुपये की सब्सिडी दी गई है। योजना के तहत 24.79 लाख इलेक्ट्रिक टू-व्हीलर्स (E-2W), 3.16 लाख इलेक्ट्रिक थ्री-व्हीलर (E-3W) और 14,028 ई-बसों के लिए सब्सिडी दी जाएगी। ई-रिक्शा सहित थ्री व्हीलर्स को पहले साल में 25,000 रुपये की प्रोत्साहन राशि मिलेगी, जिसे दूसरे साल में इसे आधा करके 12,500 रुपये कर दिया जाएगा।
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