मुंबई: महाराष्ट्र के गढ़चिरौली और आसपास के जंगलों में नक्सलियों के खिलाफ पुलिस ने बड़ा अभियान छेड़ रखा है। इसी अभियान के तहत 1 जुलाई को महाराष्ट्र पुलिस और एंटी नक्सल दस्ता C-60 कमांडो की एक टीम गढ़चिरौली के पोमके हालवोरा की हद्द में कुदरी इलाके के जंगलों में छानबीन कर रही थी। इस जंगल में नक्सलियों के छिपे रहने की जानकारी पुलिस को गोपनीय जानकारी मिली थी। जंगल के चप्पे चप्पे से वाकीफ नक्सलियों के खिलाफ यह ऑपरेशन बेहद मुश्कील था।
अपनी जान जोखिम में डालकर C-60 कमांडो दस्ता संभल-संभलकर जंगल में आगे बढ़ रहा था। कई घंटे की मशक्कत के बाद टीम एंटी नक्सल दस्ता नक्सलियों के खुफिय ठिकाने पर पहुंच गया। यहां पर छापेमारी के दौरान जो सबूत पुलिस के हाथ लगे उसे देखकर वह भी हैरान थे। नक्सलियों ने जंगल के बीचो बीच जमीन में गड्ढा कर कुछ सामान छिपा कर रखा था।
पुलिस ने जब जमीन खोदी तब एक एक कर डेटोनेटर्स, दस्तावेज बाहर निकलने लगे। पुलिस तब हैरान रह गई जब इसी जमीन में छिपा कर रखे कुछ लाल रंग के कागज दिखने लगे। जब गहराई से खोज की गई तब एक दो नहीं बल्कि 15 लाख से ज्यादा नगद रुपए बरामद किए गए।
पुलिस के मुताबिक देश विरोधी गतिविधियों में लिप्त नक्सली अक्सर अपने नापाक मंसूबों को अंजाम देने के लिए आम लोगों के अलावा जंगलों में अलग अलग प्रोजेक्ट से जुड़े ठेकेदारों से फिरौती वसूल करते हैं। यह नक्सली खुद को जंगल का रहनुमा बताते हैं लेकिन असल में यह नक्सल आंदोलन के बहाने फिरौती वसूलते हैं और फिरौती की इसी रकम से बम बारूद, हथियार खरीदते है।
गडचिरौली पुलिस ने इस अभियान के दौरान नक्सली साहित्य, नक्सली बैनर्स, 3 डेटोनेटर, 1 स्विच, 4 इलेक्ट्रीक बटन, वायर्स, 1 वॉकी टॉकी और 15,96,000 रुपए नगद जप्त किए गए हैं। गढ़चिरौली जिले के एसपी अंकित गोयल के नेतृत्व में किए गए इस अभियान के बाद पुलिस का कहना है कि इतनी बड़ी कार्यवाही से नक्सलियों की कमर टूटी है।
उन्होंने कहा कि साथ हीं नक्सलियों को यह भी पता चल गया है उनकी हर नापाक हरकत पर पुलिस पैनी नजर रखे हुए है। साथ ही आम लोगों से फिरौती वसूलना अब उनके लिए बेहद ही मुश्किल होगा। इस कामयाबी के बाद जंगलों में छिपे नक्सलियों के खिलाफ अभियान को और तेज करने के आदेश दे दिए गए हैं।
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