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Hindi News महाराष्ट्र गोंदिया मेडिकल कॉलेज और KTS शासकीय अस्पताल में चूहों का आतंक, कुतर डाला मांस

गोंदिया मेडिकल कॉलेज और KTS शासकीय अस्पताल में चूहों का आतंक, कुतर डाला मांस

चूहे गोंदिया मेडिकल कॉलेज और जिला केटीएस अस्पताल के वार्डों में पहुंचकर यहां भर्ती मरीजों के ब्रेड बिस्किट रोटी और खाने-पीने की चीजों में मुंह मार रहे हैं। सैकड़ों चूहों की धमाचौकड़ी का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है।

gondia medical college- India TV Hindi Image Source : INDIA TV गोंदिया मेडिकल कॉलेज

महाराष्ट्र के गोंदिया मेडिकल कॉलेज और जिला केटीएस अस्पताल में लापरवाही की इंतहा हो रही है। इन शासकीय अस्पतालों में चूहों का आतंक बढ़ता जा रहा है। चूहे अस्पताल के अंदर वार्डों में पहुंचकर भर्ती मरीजों के ब्रेड बिस्किट रोटी और खाने-पीने की चीजों में मुंह मार रहे हैं। सैकड़ों चूहों की धमाचौकड़ी का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है जिसमें भारी बारिश में चूहे ऑपरेशन द्वारा ऑपरेट कर निकाले गए मांस का सैंपल जिसे थालियों में भरकर लावारिस छोड़ गया है उसे खा रहे हैं।

बारिश में भीग कर सड़ चुका है जहरीला कचरा

बता दें कि बायोमेडिकल वेस्ट के निपटान की प्रक्रिया को नजरअंदाज करते हुए इस खतरनाक मेडिकल वेस्ट को बड़ी-बड़ी लाल पीली काली प्लास्टिक थैलियों में भरकर पुराने पोस्टमार्टम गृह के पास ठिकाने लगाने हेतु रखा गया है। लेकिन इस जहरीले कचरे को बायो मेडिकल वेस्ट मैनेजमेंट रूल्स के तहत भांप द्वारा अब तक निष्फल नहीं किया गया है नतीजतन यह मेडिकल वेस्ट गत 2 माह के अंतराल के दौरान बारिश में भीग कर सड़ चुका है और इसमें सैकड़ो चूहों ने अपना घर बना लिया है।

आखिरकार इन सबों के लिए जिम्मेदार कौन है? क्योंकि यह मामला सीधे तौर पर अस्पताल में भर्ती मरीजों के स्वास्थ्य से किए जा रहे हैं खिलवाड़ का है लिहाजा इस अमानवीय घटना ने जिला अस्पताल प्रबंधन को कटघरे में जरूर लाकर खड़ा कर दिया है। वीडियो वायरल होने के बाद से जिला अस्पताल प्रशासन के असमर्थता के कारण मरीजों के स्वास्थ्य समस्या को खारिज नहीं किया जा सकता।

कोविड में संक्रमित कचरे को प्लास्टिक थैलियों में किया था जमा

बता दें कि इससे पहले कोविड महामारी के दौरान संक्रमित कचरे को प्लास्टिक थैलियों में भरकर शासकीय अस्पताल की छत पर जमा किया गया था जिसे ढाई वर्षों के बाद मई 2024 में उतारकर पुराने पोस्टमार्टम गृह के पास बने गोदाम के बाहर रखा गया।
इस कोविड वेस्ट की हैंडलिंग समय रहते नहीं की गई, इस तरह की लापरवाही इतने कम  समय के अंतराल में दूसरी बार कैसे हुई? इस बात का जवाब अब मेडिकल अस्पताल के प्रबंधन को देना होगा। साथ ही इस तरह की घटनाओं की पुनरावृत्ति ना हो इसके लिए साफ-सफाई, स्वच्छता और मेडिकल वेस्ट की उचित व्यवस्था बनानी होगी।

बहरहाल अस्पताल परिसर से लेकर वार्डों में घूम रहे और रातों-रात मरीजों के खाने पीने की वस्तुएं चट कर रहे चूहे बाद में अस्पताल के अंदर मरीज को भी कुतरेंगे इस बात से इनकार नहीं किया जा सकता। इसलिए समय रहते इन चूहों का इंतजाम किया जाना बेहद जरूरी है।

(रिपोर्ट- रवि आर्य)