महाराष्ट्र की सियासत अजब होती जा रही, इसके लिए सभी के प्रिडक्शन गलत ही साबित हो रहे। बीते दिन सामना के संपादकीय पेज पर मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस की तारीफ के पुल बांधे गए। आज पुणे में मीडिया से बात करते हुए शरद पवार की बेटी और एनसीपी-एसपी सांसद सुप्रिया सुले ने भी मुख्यमंत्री के एक्टिव मोड की तारीफ की। इसे राजनीतिक पंडित भी कुछ बड़ा होने का संकेत समझ रहे हैं।
सरकार को बहुत बड़ा मैंडेट मिला
सांसद सुप्रिया सुले ने कहा कि इस सरकार को बहुत बड़ा मैंडेट मिला है और कल जो इनकी पहली कैबिनेट हुई और आपके ही चैनल पर जो मैंने देखा की कई मंत्रियों ने अभी तक पदभार लिया नहीं है और आपके चैनल पर ही मुख्यमंत्री ने कहा कि जल्दी सबको पदभार लेना चाहिए और काम पर लगना चाहिए।
मुख्यमंत्री तो एक्टिवली काम कर ही रहे
आगे कहा कि मुझे आश्चर्य है कि इतने बड़े मैंडेट के बाद सरकार से एक्शन मोड की अपेक्षा जनता को थी क्यूंकि जनता ने इन्हे भर-भर कर वोट दिया है। सिर्फ माननीय मुख्यमंत्री ही एक्शन मोड में दिख रहे हैं। मुख्यमंत्री को छोड़ दें तो और कोई भी मुझे इस सरकार में एक्शन मोड में दिखाई नहीं दे रहा है। मेरी 2025 में अपेक्षा है कि मुख्यमंत्री तो एक्टिवली काम कर ही रहे हैं लेकिन उनकी टीम भी काम करे क्यूंकि जनता ने उन सब को वोट दिया है।
सामना में क्या कहा गया?
बता दें कि सामना में लिखा गया कि शिवसेना को यकीन है कि देवेंद्र फडणवीस गढ़चिरौली में कुछ नया करेंगे। आगे कहा, ‘गढ़चिरौली में गरीबी के कारण ही नक्सलवाद बढ़ा है। पढ़-लिखकर ‘पकौड़े’ तलने के बजाय, हाथों में बंदूक लेकर आतंक मचाने, दहशत बनाने की ओर युवाओं का झुकाव बढ़ा। इस लड़ाई में सिर्फ और सिर्फ खून ही बहा। कई पुलिस वाले भी मारे गए और बच्चे भी। अब अगर मुख्यमंत्री गढ़चिरौली में इस तस्वीर को बदलने का फैसला लेते हैं तो हम उन्हें बधाई देते हैं। साथ ही उम्मीद करते हैं कि फडणवीस गढ़चिरौली में कुछ नया करेंगे और आदिवासियों की जिंदगी बदल देंगे। अगर गढ़चिरौली में संविधान का राज आने जा रहा है तो मुख्यमंत्री फडणवीस प्रशंसा के पात्र हैं।