इंदौर: मध्य प्रदेश में कोविड-19 से सबसे ज्यादा प्रभावित इंदौर में पुलिस ने महामारी की रोकथाम के लिए शुक्रवार से अनूठा प्रयोग शुरू किया। बिना किसी जरूरी काम के घर से बाहर घूम रहे लोगों से पुलिस कोरे पन्ने पर बार-बार लिखवा रही है कि वे "जनता कर्फ्यू" (आंशिक लॉकडाउन) का पालन करेंगे। खजराना के थाना प्रभारी दिनेश वर्मा ने बताया, "हम जिन लोगों को सड़क पर बेवजह घूमते पकड़ रहे हैं, उनसे एक कोरे पन्ने पर यही पंक्ति बार-बार लिखवा रहे हैं कि वे जनता कर्फ्यू का पालन करेंगे और अनावश्यक घर से बाहर नहीं निकलेंगे।"
उन्होंने कहा, "हमें उम्मीद है कि यह पंक्ति बार-बार लिखने से इन लोगों को अपनी गलती का अहसास होगा जिससे आइंदा वे बिना किसी जरूरी काम के घर से बाहर नहीं निकलेंगे।" थाना प्रभारी ने बताया कि जो लोग बेवजह घर से बाहर घूमते बार-बार पकड़े जा रहे हैं, उन्हें दंड प्रक्रिया संहिता (सीआरपीसी) की धारा 151 (संज्ञेय अपराध घटित होने से रोकने के लिए की जाने एहतियातन गिरफ्तारी) के तहत अस्थायी जेल भेजा जा रहा है।यह जेल प्रशासन के आदेश पर एक गेस्ट हाउस में बनाया गया है।
गौरतलब है कि इंदौर में महामारी की दूसरी लहर की रोकथाम के लिए 20 अप्रैल से जनता कर्फ्यू लागू है। कर्फ्यू के दौरान लोगों को बेहद जरूरी काम होने पर ही घर से बाहर निकलने की इजाजत है, जबकि अस्पताल संक्रमितों से भरे हैं। सरकारी आंकड़ों के मुताबिक, करीब 35 लाख की आबादी वाले जिले में 24 मार्च 2020 से लेकर अब तक कोरोना वायरस संक्रमण के कुल 1,23,447 मरीज मिले हैं। इनमें से 1,190 लोगों की इलाज के दौरान मौत हो चुकी है।