भोपाल: मध्य प्रदेश में बुधवार को कोरोना वायरस संक्रमण के 11 नए मामले सामने आए और इसके साथ ही प्रदेश में इस वायरस से अब तक संक्रमित पाए गए लोगों की कुल संख्या 7,91,778 हो गई है। मध्य प्रदेश स्वास्थ्य विभाग के एक अधिकारी ने यह जानकारी दी। उन्होंने बताया कि प्रदेश में पिछले 24 घंटे में एक व्यक्ति की संक्रमण से मौत हुई है। इसी के साथ प्रदेश में अब तक इस बीमारी से मरने वालों की संख्या 10,513 हो गई है। प्रदेश में वर्तमान में महामारी के केवल 130 उपचाराधीन मरीज हैं, जिनका इलाज चल रहा है।
अधिकारी ने बताया कि प्रदेश में कुल 7,91,778 कोरोना संक्रमितों में से अब तक 7,81,135 मरीज स्वस्थ हो चुके हैं। अधिकारी ने बताया कि प्रदेश में बुधवार को 9,75,348 लोगों को कोरोना वैक्सीन लगाया गया। इसी के साथ प्रदेश में अब तक 3,00,18,551 लोगों को कोरोना वैक्सीन लगाया जा चुका है।
इस बीच भारतीय आयुर्विज्ञान अनुसंधान परिषद (आईसीएमआर) द्वारा 14 जून से छह जुलाई के बीच किया गया एक सीरो सर्वे सामने आया है जिसके अनुसार मध्य प्रदेश 79 प्रतिशत ‘सीरोप्रीवैलेंस’ के साथ सूची में सबसे ऊपर है जबकि केरल 44.4 प्रतिशत के साथ सबसे नीचे है। असम में ‘सीरोप्रीवैलेंस’ 50.3 प्रतिशत और महाराष्ट्र में 58 प्रतिशत है। भारत के 70 जिलों में आईसीएमआर द्वारा किए गए राष्ट्रीय सीरो सर्वे के चौथे दौर के निष्कर्षों को केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय ने बुधवार को साझा किया।
स्वास्थ्य मंत्रालय ने राज्यों को जिला स्तर पर सीरो सर्वे करने के भी निर्देश दिए हैं, जिससे कि कोरोना संक्रमण की सही सही स्थिति की जानकारी मिल सके। केंद्र सरकार ने राज्यों से कहा है कि वह आईसीएमआर के संपर्क में रहते हुए इस सर्वे को अंजाम दें और इसे जल्द से जल्द पूरा करें। इससे पहले चौथे सीरो सर्वे के दौरान आईसीएमआर ने साफ किया था कि ये परिणाम राज्यों के हैं। इसे जिला स्तर पर नहीं माना जाना चाहिए। ये मोटे तौर पर देश में संक्रमण के स्तर को दर्शाता है। इसी के मद्देनजर जमीन पर हर राज्य में क्या हालात हैं इसको समझने के लिए अब जिला स्तर के सर्वे पर जोर दिया जा रहा है।
भारत में चार महीने में कोविड-19 के एक दिन में सबसे कम मामले सामने आने के बीच सरकार ने कहा कि एक सीरो सर्वे में पाया गया है कि छह साल से अधिक आयु की देश की आबादी के दो-तिहाई हिस्से में सार्स-सीओवी-2 एंटीबॉडी पाई गई है लेकिन जोर देते हुए यह भी कहा कि करीब 40 करोड़ लोगों को अब भी कोरोना वायरस संक्रमण का खतरा है और ढिलाई के लिए कोई जगह नहीं है।
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